शोभायात्रा में पत्थरबाजी से बदलेगा बंगाल का समीकरण, जब दीदी को था अंदेशा तो कैसे हुई हिंसा?
मुर्शिदाबाद में वैसे तो 7 में को चुनाव है लेकिन पहले चरण में 19 अप्रैल को उत्तर बंगाल की तीन सीटों पर वोटिंग हो रही है। ऐसे में यह सवाल उठ रहे हैं कि चुनाव से ठीक पहले पश्चिम बंगाल में तनाव के पीछे चुनाव है?
लोकसभा चुनाव के पहले चरण में पश्चिम बंगाल की 42 सीटों में से तीन पर वोटिंग जारी है। लेकिन चुनाव से ठीक पहले बंगाल के दो जिलों में तनाव देखने को मिला। यह तनाव रामनवमी के दिन हुआ। मुर्शिदाबाद और मेदिनीपुर में रामनवमी के दिन हिंसक झड़प हो गई। कई लोग घायल हुए। इस हिंसा के लिए बीजेपी और टीएमसी एक दूसरे को जिम्मेदार ठहरा रही है। ऐसे में सवाल उठ रहे हैं कि क्या यह तनाव चुनावी है? क्या वोट बैंक का अंकगणित है इसका मकसद है।
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ममता को था पहले से अंदेशा
सबसे पहले आपको रामनवमी की शोभायात्रा से 1 दिन पहले बंगाल की सीएम ममता बनर्जी के बयान के बारे में बताते हैं ममता बनर्जी ने कहा था कि भाजपा 17 अप्रैल को रामनवमी के अवसर पर हिंसा और दंगे भड़काने की कोशिश करेगी। उन्होंने अपनी भगवा विचारधारा के साथ हमारी कानून प्रवर्तन एजेंसियों में घुसपैठ की है। उनका एजेंडा संघर्ष और अराजकता को कायम रखना है। मैं सभी से शांति और एकता बनाए रखने का आग्रह करता हूं। आइए हम उनके हाथों में न खेलें। इसके बजाय, हम इस दिन को एक प्रतीक के रूप में मनाएं। इसके अलावा, ममता बनर्जी ने कांग्रेस और भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) पर पश्चिम बंगाल में भाजपा के साथ "भाई-भाई" खेलने का भी आरोप लगाया।
ममता के झांसे में आ गए लोग
शोभा यात्रा में पत्थर बाजी के बाद भाजपा हमलावर हो गई है। भाजपा नेता सुकांता मजूमदार ने कहा कि ममता बनर्जी कोशिश कर रही थी लोगों को उकसाने की। कुछ जगह ऐसा हो गया कि लोग ममता बनर्जी के झांसे में आ गए। यह ममता बनर्जी की प्लानिंग है। अल्पसंख्यक वोट पाने की प्लानिंग है। शुभेंदु अधिकारी ने कहा कि मुख्यमंत्री के भड़काऊ भाषण के कारण पश्चिम बंगाल राज्य में विभिन्न स्थानों पर राम नवमी जुलूसों को बाधित किया गया और उन पर हमला किया गया, जिससे उपद्रवियों को सफलतापूर्वक उकसाया गया। जिन्हें आश्वासन दिया गया था कि कानून प्रवर्तन एजेंसी उनके खिलाफ कार्रवाई नहीं करेगी क्योंकि उनके हाथ बंधे हुए हैं।
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कांग्रेस ने बताया सांप्रदायिक सद्भाव बिगड़ने के लिए साजिश
कांग्रेस भी इस जंग में कहां पीछे रहने वाले थी। अधीर चौधरी ने इसे सुनायोजित बताते हुए कहा कि सांप्रदायिक सद्भाव बिगड़ने के लिए साजिश हो रही है। इस इलाके में एक नया समीकरण बनाने की कोशिश हो रही है। प्रशासन इस(मुर्शिदाबाद में रामनवमी जुलूस के दौरान हुई घटना) घटना के बाद भी हरकत में नहीं आई> सांप्रदायिकता की आग बेहद खतरनाक होती है> मैं लोगों से अपील करता हूं कि शांति बहाल करने के लिए जो भी कदम उठाए जा सकते हैं वे उठाए जाए। अधीर रंजन ने मुर्शिदाबाद में घायल लोगों से मिलने की कोशिश की तो उन्हें भाजपा कार्यकर्ताओं के कई विरोध का सामना करना पड़ा।
चुनाव से ठीक पहले पश्चिम बंगाल में तनाव
पश्चिम बंगाल के शक्तिपुर में रामनवमी की शोभायात्रा के आयोजन पर बम धमाके, आगजनी, पथराव, आंसू गैस के गोले छोड़े जाने की अशुभ तस्वीर सामने आई। जानकारी के अनुसार कुछ लोगों ने शोभायात्रा पर ऐड पत्थर से हमला किया बमबारी की और उपद्रव मचाया। हैरानी की बात यह है कि यह सब कुछ पुलिस के सामने हुआ। मुर्शिदाबाद में वैसे तो 7 में को चुनाव है लेकिन पहले चरण में 19 अप्रैल को उत्तर बंगाल की तीन सीटों पर वोटिंग हो रही है। ऐसे में यह सवाल उठ रहे हैं कि चुनाव से ठीक पहले पश्चिम बंगाल में तनाव के पीछे चुनाव है?
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