जापान का मिशन स्पेस ट्रेन टू मून, बुलेट की रफ्तार अब पहुंचेगी चांद के पार
धरती पर सरपट दौड़ने वाली बुलेट ट्रेन के बाद जापान चांद और मंगल ग्रह पर जाने की योजना पर काम कर रहा है। जिसको लेकर कई तरह के रिसर्च भी किए जा रहे हैं। वैसे तो आप मंगलयान, गगनयान के जरिये लोगों के स्पेस में जाने की बात सुनते होंगे।
अंतरिक्ष क्षेत्र बेहद ही महत्वपूर्ण और विशाल आयाम आने वाले वॉर वेयर के अंदर होने वाला है। इस वजह से विश्व के सुपर पावर मुल्क अपने-अपने तरीके से यहां अपना आधिपत्य जमाने की कोशि कर रहे हैं। आने वाले समय में लोग चांद पर कॉलोनियां बसा कर रहने लगेंगे। वैसे तो पूरी दुनिया के साइंटिस्ट पृथ्वी के बाहर की दुनिया को खंगालने में लगे हुए हैं। अमेरिका फिस से चांद पर जाने की जुगाड़ में है। वहीं अपने को अमेरिका से बड़ा सुपरपावर मुल्क दिखाने की चाह में लगा चीन मंगल ग्रह पर जाकर पानी की तलाश में लगा है। लेकिन तकनीक के मामले में दुनियाभर से अपना लोहा मनवा चुका जापान अपनी खोज के जरिये हमेशा से चौंकाता आया है। जापान की बुलेट ट्रेन के बारे में तो सभी ने सुना होगा। साल 2017 के सितंबर महीने में भारत और जापान ने अहमदाबाद में देश के पहली बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट का शिलान्यास किया। बुलेट ट्रेन की सहायता से इनसान एक जगह से दूसरी जगह बेहद कम समय में जा सकता है।
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धरती पर सरपट दौड़ने वाली बुलेट ट्रेन के बाद जापान चांद और मंगल ग्रह पर जाने की योजना पर काम कर रहा है। जिसको लेकर कई तरह के रिसर्च भी किए जा रहे हैं। वैसे तो आप मंगलयान, गगनयान के जरिये लोगों के स्पेस में जाने की बात सुनते होंगे। लेकिन जापान अब बुलेट ट्रेन के जरिये लोगों को चंद्रमा और मंगल ग्रह पर ले जाएगा। ये बात सुनने में थोड़ी अजीब जरूर लगे लेकिन जापान ऐसा करने जा रहा है। जिसका ब्लूप्रिंट उन्होंने तैयार भी कर लिया है। कंपनी ने पूरे प्रोजेक्ट का वीडियो शेयर किया है। सोशल मीडिय पर इस वीडियो के बाद लोग अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कह रहे हैं कि जापान कुछ भी कर सकता है।
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यूरेशियन टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार जापान की क्योटो यूनिवर्सिटी और काजिमा कंस्ट्रक्शन रे रिसर्चर्स चंद्रमा और मंगल ग्रह पर आर्टिफिशियल अंतरिक्ष वातावरण बनाने की योजना बना रहे हैं। इसकी मदद से इंसान वहां आसानी से रह सकते हैं। ट्रेन में भी सफर कर सकते हैं। इस प्रोजेक्ट का नाम हेक्सागोन स्पेस ट्रैक सिस्टम है। इसे अंतरग्रहीय यात्रा के रूप में जाना जाता है।
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