By अभिनय आकाश | Oct 17, 2024
फाइव आइज देशों की तरफ से कई तरह के बयान सामने आ रहे हैं। अमेरिका, ब्रिटेन, ऑस्ट्रेलिया की तरफ से ट्रूडो सरकार के आरोपों पर विदेश मंत्रालय ने कहा कि कनाडा ने हमारे साथ कोई रिपोर्ट साझा नहीं की है। सितंबर 2023 से कनाडा सरकार ने हमारे साथ कोई जानकारी साझा नहीं की है। कल भी हमारी तरफ से एक बयान जारी किया गया है। कनाडा ने गंभीर आरोप लगाए हैं। लेकिन इन आरोपों को लेकर अब तक कोई भी सबूत पेश करने में नाकाम साबित हुआ है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा कि कनाडा ने भारत और भारतीय राजनयिकों के खिलाफ जो गंभीर आरोप लगाए हैं, उनके समर्थन में उसने कोई सबूत पेश नहीं किया है। इस लापरवाह व्यवहार से भारत-कनाडा संबंधों को जो नुकसान पहुंचा है, उसकी जिम्मेदारी अकेले प्रधानमंत्री ट्रूडो की होगी।
ट्रूडो ने जांच आयोग के समक्ष यह स्वीकार किया था कि जब उन्होंने पिछले साल खालिस्तानी अलगाववादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में भारत सरकार के एजेंटों की संलिप्तता का आरोप लगाया था, तब उनके पास केवल खुफिया जानकारी थी और कोई ठोस सबूत नहीं था। संघीय चुनावी प्रक्रियाओं और लोकतांत्रिक संस्थाओं में विदेशी हस्तक्षेप के मामले में सार्वजनिक जांच के समक्ष बयान देते हुए ट्रूडो ने दावा किया था कि भारतीय राजनयिक उन कनाडाई लोगों के बारे में जानकारी एकत्र कर रहे थे जो नरेन्द्र मोदी सरकार से असहमत हैं और इसे भारत सरकार के उच्च स्तरीय अधिकारियों और लॉरेंस बिश्नोई गिरोह जैसे आपराधिक संगठनों तक पहुंचा रहे थे।
भारत ने ट्रूडो के आरोपों को बेबुनियाद बनाते हुए इसे खारिज कर दिया था। भारत का कहना है कि दोनों देशों के बीच मुख्य मुद्दा यह है कि कनाडा अपनी धरती से गतिविधियां चला रहे खालिस्तान समर्थक तत्वों को बिना किसी रोक-टोक के पनाह दे रहा है। भारत द्वारा आतंकवादी घोषित किए गए निज्जर की पिछले साल 18 जून को ब्रिटिश कोलंबिया के सरे में एक गुरुद्वारे के बाहर गोली मारकर हत्या कर दी गई थी।