By एकता | Mar 28, 2025
साल 2025 का पहला सूर्य ग्रहण 29 मार्च, शनिवार को लगेगा। यह ग्रहण आंशिक रूप से लगेगा, लेकिन भारत में यह दिखाई नहीं देगा। यह ग्रहण विश्व के कई हिस्सों में दिखाई देगा, लेकिन भारत में इसका दर्शन नहीं होगा। नासा के अनुसार, यह ग्रहण यूरोप, एशिया, अफ्रीका, उत्तरी अमेरिका, दक्षिण अमेरिका और आर्कटिक के क्षेत्रों में दिखाई देगा।
सूर्य ग्रहण कब लगता है?
सूर्य ग्रहण तब लगता है जब चंद्रमा सूर्य और पृथ्वी के बीच में आता है और सूर्य की रोशनी को पृथ्वी तक पहुंचने से रोकता है। यह तब होता है जब चंद्रमा अपनी कक्षा में सूर्य और पृथ्वी के बीच में आता है, जिससे सूर्य की रोशनी पृथ्वी पर पड़ने से रुक जाती है।
सूर्य ग्रहण भारत में दिखाई देगा?
आंशिक सूर्य ग्रहण भारत में दिखाई नहीं देगा। इसका कारण यह है कि चंद्रमा की छाया भारत के ऊपर से नहीं गुजरेगी, इसलिए भारत में लोग इस खगोलीय घटना को नहीं देख पाएंगे।
भारत में सूतक काल लागू होगा?
सूतक काल एक धार्मिक अवधारणा है जिसे अशुभ माना जाता है। इस दौरान कुछ चीजें करना वर्जित होता है। सूतक काल सूर्य ग्रहण से 9 से 12 घंटे पहले शुरू होता है, लेकिन यह केवल तभी लागू होता है जब ग्रहण उस क्षेत्र में दिखाई दे जहां लोग रहते हैं। चूंकि आगामी सूर्य ग्रहण भारत में दिखाई नहीं देगा, इसलिए यहां सूतक काल लागू नहीं होगा।
सूर्य ग्रहण के दौरान गर्भवती महिलाओं के लिए सावधानियां
गर्भावस्था के दौरान सूर्य ग्रहण के प्रतिकूल प्रभावों को सीधे जोड़ने वाला कोई वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है, लेकिन स्वास्थ्य विशेषज्ञ गर्भवती महिलाओं को सावधानी बरतने की सलाह देते हैं। मुख्य चिंता सूर्य को सीधे देखने के खतरों से उत्पन्न होती है, जिससे आंखों को स्थायी क्षति हो सकती है।
गर्भवती महिलाओं को हार्मोनल परिवर्तनों के कारण प्रकाश के प्रति संवेदनशीलता में वृद्धि का अनुभव हो सकता है, जिससे घटना के दौरान अतिरिक्त देखभाल करना महत्वपूर्ण हो जाता है। कुछ पारंपरिक मान्यताओं का सुझाव है कि संभावित जोखिमों से बचने के लिए गर्भवती महिलाओं को ग्रहण के दौरान घर के अंदर रहना चाहिए।
सुरक्षा उपाय:
1. प्रमाणित सौर देखने वाले चश्मे का उपयोग करें।
2. हाइड्रेटेड रहें और लंबे समय तक धूप में रहने से बचें।
3. यदि असुविधा, थकान या चक्कर आ रहा है, तो छायादार क्षेत्र में आराम करें और आवश्यकतानुसार ब्रेक लें।