By अंकित सिंह | Jul 27, 2023
संसद के मानसून सत्र का आज छठा दिन है। हालांकि, बवाल लगातार जारी है। दरअसल, मणिपुर को लेकर विपक्षी दल लगातार चर्चा की मांग कर रहे हैं। विपक्षी दलों की मांग यह भी है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को संसद में मणिपुर को लेकर बयान देना चाहिए। विपक्षी दलों के नेता आज संसद में काले कपड़े पहनकर पहुंचे थे। इसको लेकर राज्यसभा में सदन के नेता पीयूष गोयल ने विपक्षी दलों पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि एक काले कपड़े पहनने वाले लोग समझ नहीं पा रहे हैं कि देश की बढ़ती हुई ताकत आज क्या है? जिनका मन और तन काला है, उनके दिल में क्या छुपा है? दूसरी ओर राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि प्रधानमंत्री राजस्थान में राजनीतिक भाषण दे रहे हैं लेकिन मणिपुर पर संसद में बयान नहीं दे रहे। संसद के दोनों सदनों में आज कुछ कामकाज भी हुए हैं।
- मणिपुर के मुद्दे पर लोकसभा में विपक्षी सदस्यों की नारेबाजी के कारण बृहस्पतिवार को सदन की कार्यवाही दो बार के स्थगन के बाद शुक्रवार सुबह 11 बजे तक के लिए स्थगित हो गया।
- लोकसभा ने बृहस्पतिवार को ‘निरसन एवं संशोधन विधेयक 2022’ को मंजूरी प्रदान कर दी जिसके माध्यम से वर्षों पुराने एवं अप्रचलित कानूनों को निरस्त करने का प्रावधान किया गया है जिनमें एक कानून 138 वर्ष पुराना है। सदन में विधेयक पर संक्षिप्त चर्चा के बाद इस विधेयक को ध्वनिमत से मंजूरी दी गई। संक्षिप्त चर्चा का जवाब देते हुए विधि एवं न्याय मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने कहा कि यह विधेयक ‘कारोबार सुगमता’ और लोगों के जीवन को बेहतर बनाने के सरकार के सिद्धांत के अनुरूप है।
- लोकसभा में विदेश मंत्री एस जयशंकर के वक्तव्य के दौरान कांग्रेस सहित विपक्षी दलों के शोर-शराबे को लेकर बृहस्पतिवार को केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल और कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी के बीच नोकझोंक हो गई। जयशंकर ने लोकसभा में ‘‘भारत की विदेश नीति में नवीनतम विकास’’ के संबंध में स्वत: संज्ञान लेते हुए वक्तव्य दिया। उनके वक्तव्य के समय मणिपुर के मुद्दे पर विपक्षी दलों के सदस्य नारेबाजी कर रहे थे। इस दौरान विपक्षी सदस्यों ने ‘प्रधानमंत्री सदन में आओ’ और ‘इंडिया-इंडिया’ के नारे लगाए। इसके जवाब में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी के सदस्यों ने ‘मोदी-मोदी’ के नारे भी लगाए।
- लोकसभा ने बृहस्पतिवार को ‘जन विश्वास (उपबंधों का संशोधन) विधेयक, 2023’ को मंजूरी दे दी जिसमें कारोबार सुगमता को बढ़ावा देने के उद्देश्य से 42 अधिनियमों के 183 प्रावधानों में संशोधन कर छोटी-मोटी गड़बड़ियों को अपराध की श्रेणी से हटाने का प्रस्ताव किया गया है। निचले सदन ने संक्षिप्त चर्चा के बाद इस विधेयक को ध्वनिमत से स्वीकृति दी। केंद्रीय मंत्रिमंडल ने 12 जुलाई को इस विधेयक को मंजूरी दी थी। इसमें कारोबार सुगमता (ईज ऑफ डूइंग बिजनेस) को बढ़ावा देने के उद्देश्य से 19 मंत्रालयों से जुड़े 42 अधिनियमों के 183 प्रावधानों में संशोधन कर छोटी-मोटी गड़बड़ियों को अपराध की श्रेणी से हटाने का प्रस्ताव किया गया है। वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने पिछले साल 22 दिसंबर को लोकसभा में ‘जन विश्वास (प्रावधान संशोधन) विधेयक’ पेश किया था।
- देश में वर्ष 2004 से 2014 के दौरान परिणामी रेल दुर्घटनाओं की औसत संख्या प्रति वर्ष 171 थी जो वर्ष 2014 से 2023 के दौरान औसतन 71 प्रतिवर्ष दर्ज की गई। सरकार ने लोकसभा को यह जानकारी दी। लोकसभा में अरविंद सावंत के प्रश्न के लिखित उत्तर में रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बुधवार को यह जानकारी दी।
- केंद्रीय सड़क, परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने बृहस्पतिवार को कहा कि सरकार सड़क सुरक्षा को लेकर सजग है और देश में सड़कों की गुणवत्ता में सुधार के बाद सड़क दुर्घटनाएं बढ़ने के संबंध में सड़क सुरक्षा ऑडिट कराके उपाय निकाले जाएंगे।
- मणिपुर हिंसा पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के बयान की मांग को लेकर विपक्षी दलों के भारी हंगामा और शोरगुल आज भी राज्यसभा में जारी रहा।
- राज्यसभा में बृहस्पतिवार को काले कपड़े पहन कर आये विपक्षी दलों के सदस्यों पर तीखा प्रहार करते हुए सदन के नेता पीयूष गोयल ने आरोप लगाया कि उनके द्वारा विदेश नीति जैसे गंभीर विषय पर राजनीति करना ‘दुर्भाग्यपूर्ण’ है तथा उनका विगत और वर्तमान ही नहीं भविष्य भी ‘काला’ है।
- विदेश मंत्री एस जयशंकर ने बृहस्पतिवार को राज्यसभा में उनके बयान के दौरान हंगामा करने और सदन की कार्यवाही बाधित करने के लिए विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि वे ‘इंडिया’ (विपक्षी गठबंधन का नाम) होने का दावा करते हैं, लेकिन अगर वे भारत के राष्ट्रीय हितों के बारे में सुनने के लिए तैयार नहीं हैं तो वे किस तरह के इंडिया हैं? विदेश मंत्री एस जयशंकर ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की हालिया विदेश यात्राओं का उल्लेख करते हुए बृहस्पतिवार को कहा कि इन प्रयासों से भारत एक ‘अस्थिर और अनिश्चित विश्व’ में अपने राष्ट्रीय उद्देश्यों और हितों को आगे बढ़ाने में सक्षम हुआ है।
- सरकार ने राज्यसभा में बृहस्पतिवार को कहा कि पायरेसी एक ‘‘दीमक’’ की तरह भारतीय फिल्म उद्योग को खा रही है और इसको रोकने के लिए लाये गये चलचित्र (संशोधन) विधेयक से उद्योग के हर सदस्य को लाभ मिलेगा और सिनेमा के माध्यम से भारत एक ‘‘साफ्ट पॉवर’’ की तरह तेजी से उभरेगा। फिल्म उद्योग में पायरेसी मुद्दों को नियंत्रित करने पर केन्द्रित चलचित्र (संशोधन) विधेयक 2023 चर्चा के बाद राज्यसभा में ध्वनिमत से पारित हो गया।