By अंकित सिंह | Sep 20, 2022
राष्ट्रीय जनता दल ने एक बार फिर से जगदानंद सिंह पर भरोसा जताया है। उन्हें बिहार का प्रदेश अध्यक्ष चुना गया है। जगदानंद सिंह का कार्यकाल खत्म हो रहा था। बिहार प्रदेश अध्यक्ष के लिए जगदानंद सिंह ने दोबारा से नामांकन भरा था जिसके प्रस्तावक खुद तेजस्वी यादव बने थे। जगदानंद के विरोध में कोई भी प्रत्याशी खड़ा नहीं हुआ जिसके बाद उनका चुनाव निर्विरोध हो गया। मंगलवार को इसकी औपचारिक घोषणा भी कर दी गई है। हालांकि, जगदानंद सिंह के खिलाफ लालू यादव के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव लगातार हमलावर रहे हैं। तो वही तेजस्वी यादव उनके बेहद करीबी बताए जाते हैं। तेजस्वी का साफ तौर पर मानना है कि 2020 के विधानसभा चुनाव में राजद का जो प्रदर्शन रहा, वह जगदानंद सिंह की बदौलत रहा। उन्होंने पार्टी में जान फूंक दी थी।
लालू के हैं बेहद करीबी
जगदानंद सिंह सवर्ण समाज से आते हैं। वह लालू यादव के करीबी नेताओं में से एक हैं। वह हमेशा लालू यादव के साथ खड़े रहे हैं। जब पार्टी का बुरा दौर भी आया, उस वक्त पर जगदानंद सिंह लगातार राजद के साथ खड़े रहे। लालू यादव की पार्टी पर लगातार MY समीकरण के आरोप लगते हैं। ऐसे में लालू यादव की ओर से जगदानंद सिंह को फिर से अध्यक्ष बनाकर सवर्ण समाज को साधने की कोशिश की गई है। लालू के जेल में रहने के दौरान भी जगदानंद सिंह ने पार्टी को मजबूती से संभाला। संगठन के कामकाज को भी वह बेहतर तरीके से निभाते हैं।
जगदानंद सिंह बिहार के रामगढ़ विधानसभा क्षेत्र से 6 बार विधायक रहे हैं। वह लालू यादव के मंत्रिमंडल में भी शामिल रहे हैं। इसके अलावा वह बक्सर से लोकसभा के सदस्य भी बने हैं। बिजली मंत्री रहने के दौरान उन्होंने अपने क्षेत्र में जबरदस्त तरीके से इसमें काम करवाया जिसकी वजह से उन्हें बिजुलिया बाबू भी कहा जाता है। जगदानंद सिंह के बेटे सुधाकर सिंह आज राजद कोटे से बिहार सरकार में कृषि मंत्री हैं। जगदानंद सिंह को स्वर्ण समाज का बड़ा चेहरा माना जाता है।