By अनुराग गुप्ता | Jul 25, 2022
नयी दिल्ली। टोक्यो ओलंपिक में भारत का सिर फक्र से ऊंचा करने वाली बॉक्सन लवलीना बोरगोहेन मानसिक प्रताड़ना से जूझ रही है। राष्ट्रमंडल खेलों की शुरूआत से ठीक पहले उन्होंने सोशल मीडिया के माध्यम से बॉक्सिंग फेडरेशन ऑफ इंडिया (बीएफआई) पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि उनके कोच के साथ बुरा व्यवहार किया जा रहा है। ऐसे में खेल मंत्रालय ने भारतीय ओलंपिक संघ से लवलीना बोरगोहेन की निजी कोच संध्या गुरुंग को मान्यता देने का अनुरोध किया।
समाचार एजेंसी एएनआई ने सूत्रों के हवाले से बताया कि युवा मामले और खेल मंत्रालय ने भारतीय ओलंपिक संघ से आग्रह किया है कि लवलीना बोरगोहेन की निजी कोच संध्या गुरुंग को मान्यता दी जाए ताकि मुक्केबाज अपनी आवश्यकता के अनुसार प्रशिक्षण ले सकें। सूत्र ने बताया कि पिछले हफ्ते भारतीय खेल प्राधिकरण (एसएआई) द्वारा युवा मामले और खेल मंत्रालय को आवश्यकता को देखते हुए की गई विशेष सिफारिश के आधार पर अंतिम राष्ट्रमंडल खेलों की आकस्मिक सूची में संध्या गुरुंग का नाम शामिल किया गया था।
सूत्र ने बताया कि मार्च में एसएआई के इंदिरा गांधी स्टेडियम में आयोजित राष्ट्रीय शिविरों में गुरुंग और लवलीना के स्ट्रेंथ और कंडीशनिंग कोच के नाम बीएफआई द्वारा शामिल नहीं किए गए थे, जो राष्ट्रीय शिविरों के लिए एथलीटों, कोचों और सहायक कर्मचारियों के नामों की सिफारिश करने के लिए जिम्मेदार हैं। हालांकि मार्च के अंतिम सप्ताह में लवलीना द्वारा एसएआई से किए गए व्यक्तिगत अनुरोध पर कार्रवाई करते हुए एसएआई ने हस्तक्षेप कर महासंघ से बात की, शिविर में गुरुंग और उसकी स्ट्रेंथ और कंडीशनिंग विशेषज्ञ को शामिल करने के लिए कहा जिसके बाद ये दोनों 4 अप्रैल को शिविर में शामिल हुए।
उन्होंने कहा कि लवलीना के कोच का नाम एसएआई द्वारा की गई एक विशेष सिफारिश के आधार पर अंतिम राष्ट्रमंडल खेलों आकस्मिक सूची में शामिल किया गया था, खेल मंत्रालय ने भारतीय ओलंपिक संघ को तत्काल हस्तक्षेप करने के लिए कहा।
उम्मीद है हल हो जाएगी समस्या
इसी बीच लवलीना बोरगोहेन की कोच संध्या गुरुंग का बयान सामने आया। उन्होंने कहा कि हम उम्मीद करते हैं कि हमारे सभी मुक्केबाज पदक लाएंगे। खिलाड़ी हमेशा चाहते हैं कि उनके कोच उनके साथ रहें। मैं उसे प्रशिक्षित नहीं कर पा रही हूं क्योंकि मुझे प्रवेश करने की अनुमति नहीं है। मुझे उम्मीद है कि आज यह समस्या हल हो जाएगी वरना मैं उसे प्रशिक्षित नहीं कर पाऊंगी।