By अनुराग गुप्ता | Feb 02, 2022
संसद में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर बहस हो रही है। इसी बीच सरकार ने राज्यसभा को बताया कि आपराधिक कानूनों में व्यापक संशोधन की प्रक्रिया शुरू की जा चुकी है। केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय कुमार मिश्रा ने राज्यसभा को एक प्रश्न के लिखित उत्तर में यह जानकारी देते हुए बताया कि सभी पक्षों के साथ गहन विचार-विमर्श करने के बाद भारतीय दंड संहिता 1860, आपराधिक प्रक्रिया संहिता 1973 और भारतीय साक्ष्य अधिनियम 1872 में संशोधन की प्रक्रिया शुरू की गई है।
उन्होंने कहा कि आपराधिक कानूनों में संशोधन एक सतत प्रक्रिया है ताकि इन कानूनों को समकालीन जरूरतों और लोगों की आकांक्षाओं के अनुरूप बनाया जा सके। उन्होंने बताया कि गृह मामलों की स्थायी संसदीय समिति ने अपनी 111वीं, 128वीं और 146वीं रिपोर्ट में, देश के आपराधिक कानूनों की समीक्षा की जरूरत रेखांकित की थी।
अमरावती है आंध्र प्रदेश की राजधानी
गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने बताया कि अमरावती आंध्र प्रदेश की राजधानी है और राज्य सरकार ने तीन राजधानी बनाने के कानून को वापस ले लिया है। राय ने उच्च सदन में प्रश्नकाल के दौरान पूरक सवालों के जवाब में जानकारी दी। उन्होंने आंध्र प्रदेश की राजधानी को लेकर भ्रम होने संबंधी भाजपा सदस्य जी वी एल नरसिंह राव के सवाल के जवाब में कहा कि राज्य सरकार को राजधानी बनाने के संबंध में फैसला करने का अधिकार है। उन्होंने कहा कि आंध्र प्रदेश सरकार ने 2015 में अमरावती को राज्य की राजधानी घोषित किया था। लेकिन जुलाई 2020 में, राज्य सरकार ने एक कानून के जरिए तीन राजधानी-अमरावती, विशाखापत्तनम और कुरनूल बनाने की घोषणा की।
तृणमूल कांग्रेस ने सरकार को घेरा
तृणमूल कांग्रेस ने बेरोजगारी, काला धन, पेगासस जासूसी विवाद और कोरोना काल में कुप्रबंधन सहित अन्य मुद्दों पर सरकार को घेरते हुए उस पर विभिन्न संवैधानिक संस्थाओं का राजनीतिक प्रतिद्वंद्वियों के खिलाफ दुरुपयोग करने और संघीय व्यवस्था पर सर्जिकल हमले करने का आरोप लगाया। राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर राज्यसभा में चर्चा में हिस्सा लेते हुए तृणमूल कांग्रेस के सुखेंदु शेखर रॉय ने काले धन पर संसद में श्वेत पत्र लाने की चुनौती भी दी। उन्होंने दावा किया कि राष्ट्रपति के अभिभाषण में असली मुद्दों किनारा किया गया है और यह वर्तमान स्थिति की धुंधली तस्वीर पेश करता है। रॉय ने विभिन्न संस्थाओं की ओर से जारी आकंड़ों का हवाला देते हुए कहा कि देश में बेरोजगारी लगातार बढ़ रही है ओर वह विकराल रूप धारण कर रही है।
वहीं राष्ट्रपति के अभिभाषण के धन्यवाद प्रस्ताव पर विपक्ष के नेता और कांग्रेस के वरिष्ठ सदस्य मल्लिकार्जुन खड़गे ने दावा किया कि राष्ट्रपति का यह अभिभाषण न तो कोई नीतिगत दस्तावेज है और न ही उसमें कोई दृष्टिकोण है। इसमें सरकार ने केवल अपनी उपलब्धियों का ही बखान किया है। जनता के बुनियादी मसले जैसे महंगाई, बेरोजगारी, अनुसूचित जाति जनजाति समुदाय के लोगों के साथ ज्यादतियां आदि यथावत हैं जिनका इसमें कोई जिक्र ही नहीं है।
खड़गे ने कहा कि आज लोकतंत्र खतरे में है। स्थिति यह है कि सच बोलने वाले को देशद्रोही करार दे दिया जाता है। बार बार हम पर सवाल उठाया जाता है कि हमने 70 साल में क्या किया ? अगर हमने 70 साल में कुछ नहीं किया होता तो यह सवाल करने वाले लोग ऊंचे पदों पर नहीं बैठे होते।
मैरिटल रेप का उठा मुद्दा
संसद में आज मैरिटल रेप का मुद्दा भी उठा। केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने कहा कि देश की हर शादी की निंदा करना ठीक नहीं है। वैवाहिक जीवन में यौन हिंसा का समर्थन नहीं किया जा सकता है और कोई इसका समर्थन नहीं करता है। लेकिन इसकी आड़ में सभी पुरुषों को बलात्कारी कहना ठीक नहीं है।