By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Jan 10, 2022
गोवा में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं और राजनीतिक पर्यवेक्षकों का मानना है कि कांग्रेस इस तटीय राज्य में सत्ता कायम रखने की भाजपा की योजनाओं को विफल कर सकती है, जबकि तृणमूल कांग्रेस के बेहतर प्रदर्शन को लेकर वे कम आश्वस्त नजर आ रहे हैं। यह बात दीगर है कि तृणमूल के चुनावी मैदान में आने से यहां चुनाव प्रचार में एक नया आयाम जुड़ गया है। गोवा की राजधानी में एक अनुभवी राजनीतिक विश्लेषक ने पीटीआई-को बताया, ‘‘कांग्रेस 40 विधानसभा सीटों में से करीब 20 सीटें जीतेगी, जबकि भाजपा को करीब 15 सीटों पर संतुष्ट होना पड़ेगा।’’ विश्लेषक का मानना है‘‘महाराष्ट्रवादी गोमांतक पार्टी (एमजीपी) के तीन से चार सीटें हासिल करने की संभावना है। आम आदमी पार्टी (आप) एक या दो सीट हासिल कर सकती है। ’’ उन्होंने एमजीपी की चुनावी संभावनाओं के लिए ममता बनर्जी के नेतृत्व वाली टीएमसी के साथ उसके गठबंधन को जिम्मेदार ठहराया है। उन्होंने कहा, “एमजीपी का प्रदर्शन अपने बूते बहुत ही खराब हो सकता था, लेकिन टीएमसी के दबदबे से इसे मदद मिलेगी।’’
पूर्व राज्य चुनाव आयुक्त प्रभाकर टिम्बलो ने कहा कि कांग्रेस तटीय राज्य में अगली सरकार बनाएगी। उन्होंने कहा, ‘‘राज्य में सत्ता-विरोधी लहर बहुत अधिक है और यह भाजपा के खिलाफ काम करेगी।’’ टिम्बलो ने कहा कि कांग्रेस आगामी विधानसभा चुनाव में 20-22 सीटें जीतेगी। उन्होंने कहा कि कांग्रेस तभी बेहतर प्रदर्शन करेगी जब वह राजनीति के पुराने ‘खिलाड़ियों’ को चुनावी मैदान में नहीं उतारेगी। उन्होंने यह भी कहा कि 14 फरवरी को होने वाले चुनावों में न तो तृणमूल कांग्रेस न ही आप को बहुत अधिक लाभ होता दिखाई दे रहा है। राजनीतिक विश्लेषक और भाजपा की ओर झुकाव रखने वाले गिरिराज पाई वर्नेकर ने कहा कि सत्तारूढ़ दल ने वोट मांगते हुए पिछले 10 वर्षों में अपने शासन के प्रदर्शन का एक रिपोर्ट कार्ड पेश किया। उन्होंने कहा, ‘‘भाजपा सत्ता विरोधी लहर से नहीं डरती, क्योंकि लोग जानते हैं कि राज्य के विकास को जारी रखने के लिए डबल इंजन वाली सरकार जरूरी है। अन्यथा, केंद्र और राज्य के बीच टकराव की स्थिति पैदा होती है, जैसा कि पश्चिम बंगाल के मामले में सामने आया है।’’ गोवा फॉरवर्ड पार्टी (जीएफपी) के महासचिव दुर्गादास कामत ने कहा कि कांग्रेस गठबंधन की जीत होगी।
गौरतलब है कि जीएफपी का कांग्रेस के साथ चुनाव-पूर्व गठबंधन है। उन्होंने कहा, ‘‘भाजपा के खिलाफ और कांग्रेस-जीएफपी गठबंधन के पक्ष में लहर है, क्योंकि लोग जानते हैं कि हम एक अच्छी और ईमानदार सरकार दे सकते हैं।’’ आप की गोवा इकाई के संयोजक राहुल म्हाम्ब्रे ने कहा कि अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व वाली पार्टी अगले महीने होने वाले विधानसभा चुनावों में ‘‘नए और साफ चेहरे’’ पेश कर रही है। उन्होंने कहा, “लोगों ने दिल्ली का विकास मॉडल देखा है। हम यहां इसका अनुकरण करेंगे।’’ गोवा में दो बड़े चुनाव-पूर्व गठबंधन बने। कांग्रेस ने जीएफपी के साथ गठबंधन किया है। जीएफपी एक क्षेत्रीय संगठन है, जो 2017 में मनोहर पर्रिकर सरकार का हिस्सा था, जबकि तृणमूल को एमजीपी के रूप में एक क्षेत्रीय भागीदार मिला है, जिसने शिवसेना के साथ गठबंधन में 2017 का चुनाव लड़ा था, लेकिन बाद में पर्रिकर के नेतृत्व वाली सरकार में शामिल हो गया था।