अमेरिका की वापसी से अफगानिस्तान के पड़ोसी देशों की बढ़ी चिंता

By टीम प्रभासाक्षी | Aug 17, 2021

19वीं शताब्दी में ब्रिटिश और रूसी साम्राज्यों के बीच अफगानिस्तान और पड़ोसी मध्य और दक्षिण एशिया क्षेत्रों में सत्ता, प्रभाव और प्रतिस्पर्धा का वर्णन करने के लिए द ग्रेट गेम सेंटेंश का इश्तेमाल किया जाता था। दो सदियों बाद एक अमेरिकी महाशक्ति को इसी तरह की वास्तविकता की याद दिला दी गई है।

 

इसे भी पढ़ें: संकट के समय विदेशों से भारतीयों को निकालने में भारत का रहा है शानदार रिकॉर्ड, अफगानी जमीं पर भी ऑपरेशन जारी


300,000 मजबूत अमेरिकी-प्रशिक्षित और सुसज्जित सेना अफगान में घंटों में ढह गई, यह मध्य पूर्व में अमेरिकी शक्ति की सीमाओं की याद दिलाती है। अमेरिकी राष्ट्रपति बिडेन विनाशकारी रूप से सेना की वापसी पर तीखी आलोचना सहन कर सकते हैं, लेकिन काबुल के पतन और अमेरिका की वापसी की जल्दबाजी के बाद, सवाल यह है कि यहां अमेरिका द्वारा 1 ट्रिलियन डॉलर खर्च करने के बाद आगे भविष्य क्या है?


यह एक ऐसा प्रश्न है, जो पश्चिम में मोरक्को से लेकर पूर्व में पाकिस्तान, उत्तर में तुर्की से लेकर खाड़ी और अफ्रीका तक पूछा जा रहा है। अफगानिस्तान में अमेरिकी सत्ता की यह विफलता मानी जाएगी, यह इतिहास में सबसे लंबा युद्ध रहा है। काबुल से अमेरिका की वापसी और 46 साल पहले साइगॉन में इसी तरह के दृश्यों के बीच तुलना की जा रही है। अफगान की स्थिति अधिक चिंताजनक है, क्योंकि मध्य पूर्व में अराजकता फैलने का डर है।


रूस की बढ़ी चिंता


बीजिंग और मॉस्को अफगानिस्तान के भविष्य में रुचि रखते हैं। चीन के लिए यह केवल एक सीमा साझा करना नहीं है, जबकि रूस के लिए चिंता यह है कि अफगान चरमपंथी सोच और अपनी मुस्लिम आबादी के कारण मुश्किलें खड़ी कर सकता है। हाल ही में चीन ने तालिबान नेताओं के साथ वार्ता की, विदेश मंत्री वांग यी ने पिछले महीने तालिबान के राजनीतिक प्रमुख मुल्ला अब्दुल गनी बरादर के साथ एक बैठक की थी। दूसरा पाकिस्तान है, जिसने वर्षों से तालिबान को परोक्ष और अपरोक्ष रूप से समर्थन दिया है।  

प्रमुख खबरें

Khalistani Terrorists Killed | खालिस्तानी आतंकवादियों को धरने के लिए पंजाब-यूुपी पुलिस ने ऐसे बनाया था प्लान, तीनों आरोपी मुठभेड़ में हुए ढेर

शुरुआती कारोबार में सेंसेक्स 628 अंक चढ़ा, निफ्टी 23,800 के पार

GNI Program और Mediology Software की मदद से प्रभासाक्षी ने नई ऊंचाइयों को छुआ

राजस्थान के कई इलाकों में हल्की बारिश, कोहरा