LAC पर भारत-चीन के सैनिकों की वापसी शुरू, दिवाली से पहले इन 2 इलाकों से पूरा हो जाएगा डिसइंगेजमेंट

By अंकित सिंह | Oct 25, 2024

भारतीय सेना और चीनी सेना 28-29 अक्टूबर तक पीछे हटने की प्रक्रिया पूरी कर लेंगी और गश्त 30-31 अक्टूबर से शुरू होगी। भारतीय सेना के सूत्रों ने इस बात की जानकारी दी है। इसमें बताया गया है कि नवीनतम समझौते केवल देपसांग और डेमचोक के लिए लागू होंगे, अन्य स्थानों के लिए नहीं। यह समझौता अन्य टकराव वाले क्षेत्रों पर लागू नहीं होगा। दोनों पक्षों के सैनिक अप्रैल 2020 से पहले की स्थिति में वापस आ जाएंगे और वे उन क्षेत्रों में गश्त करेंगे जहां उन्होंने अप्रैल 2020 तक गश्त की थी। नियमित ग्राउंड कमांडरों की बैठकें होती रहेंगी। 

 

इसे भी पढ़ें: चीन के नेता दबंगई दिखाते हुए हैरिस के साथ ‘‘बच्चे’’ की तरह बर्ताव करेंगे : Donald Trump


सूत्र ने बताया कि गश्ती दल में सैनिकों की एक निश्चित संख्या की पहचान की गई है और किसी भी गलतफहमी से बचने के लिए हम एक-दूसरे को सूचित करेंगे कि हम कब गश्त करने जा रहे हैं। शेड या टेंट और सैनिकों जैसे सभी अस्थायी बुनियादी ढांचे को हटा दिया जाएगा। दोनों पक्ष क्षेत्र पर निगरानी रखेंगे। देपसांग और डेमचोक में गश्त बिंदु वे बिंदु होंगे जहां हम अप्रैल 2020 से पहले पारंपरिक रूप से गश्त करते रहे हैं। 


साथ ही साथ यह भी कहा गया है कि चीन के साथ वार्ता में कोई लेन-देन नहीं हुआ। वर्तमान वार्ता में केवल पूर्वी लद्दाख में देपसांग और डेमचोक के लिए निर्णय लिए गए हैं। भारतीय सेना और चीनी सेना इस महीने के अंत तक अपने-अपने गश्त बिंदुओं तक गश्त शुरू कर देंगी। राजनयिक मेज पर भारत-चीन सीमा मामलों पर परामर्श और समन्वय के लिए कार्य तंत्र (डब्ल्यूएमसीसी) के वार्ताकारों और वरिष्ठ सैन्य कमांडरों के बीच गहन बातचीत के बाद भारतीय सेना और चीनी पीएलए दोनों द्वारा गश्त फिर से शुरू की जाएगी। 

 

इसे भी पढ़ें: India China Relations : भारत-चीन सीमा पर हलचल तेज, हटाए गये 5 टेंट, कई टेंपरेरी स्ट्रक्चर भी तोड़े, पूर्वी लद्दाख में सैनिकों की वापसी शुरू


गलवान में 15 जून, 2020 को हुए खूनी संघर्ष के बाद डब्ल्यूएमसीसी की 17 बार बैठक हुई और सैन्य कमांडरों ने सैनिकों की वापसी और गश्त फिर से शुरू करने के लिए 21 बार बैठक की। इससे पहले रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने बृहस्पतिवार को कहा था कि भारत और चीन के बीच वार्ता के बाद वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर जमीनी स्थिति बहाल करने के लिए व्यापक सहमति बन गयी है, जिसमें पारंपरिक क्षेत्रों में गश्त और मवेशियों को चराने की अनुमति देना भी शामिल है।

प्रमुख खबरें

खेल रत्न, अर्जुन और द्रोणाचार्य अवॉर्ड विजेताओं की पूरी लिस्ट, जानें किसे मिला कौन सा पुरस्कार

Election year in Canada: विपक्षी कंजर्वेटिव पार्टी को मिल रहा 50% सपोर्ट, ट्रूडो को लग सकता है झटका

गाजा पर इजरायल का सबसे घातक हवाई हमला, बच्चों समेत 18 की मौत, 24 घंटे में 30 से ज्यादा की मौत

नए साल पर PM Modi का संकल्प जुमलों से कम नहीं, मल्लिकार्जुन खड़गे का केंद्र पर वार