By अंकित सिंह | Jul 23, 2024
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को कृषि और संबद्ध क्षेत्रों के लिए 1.52 लाख करोड़ रुपये आवंटित किए और नौ प्राथमिकताओं की रूपरेखा तैयार की जिसमें उत्पादकता बढ़ाना शामिल है। अपने बजट प्रेजेंटेशन के दौरान उन्होंने कहा कि अगले 2 साल में 1 करोड़ किसानों को प्राकृतिक खेती में मदद की जाएगी। उन्होंने कहा कि किसानों द्वारा खेती के लिए 32 क्षेत्रीय और बागवानी फसलों की नई 109 उच्च उपज वाली और जलवायु लचीली किस्में जारी की जाएंगी। अगले 2 वर्षों में, 1 करोड़ किसानों को प्रमाणीकरण और ब्रांडिंग द्वारा समर्थित प्राकृतिक खेती में शामिल किया जाएगा। पांच राज्यों में जनसमर्थ आधारित किसान क्रेडिट कार्ड शुरू किया जाएगा।
वित्त मंत्री ने कहा कि 32 क्षेत्रीय और बागवानी फसलों की नई 109 उच्च उपज वाली और जलवायु-लचीली किस्में किसानों द्वारा खेती के लिए जारी की जाएंगी। उन्होंने यह भी कहा कि ग्रामीण अर्थव्यवस्था को तेजी से आगे बढ़ाना और बड़े पैमाने पर रोजगार के अवसर पैदा करना एक नीतिगत लक्ष्य होगा। सीतारमण ने कहा कि सरकार ग्रामीण अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने के लिए सहकारी क्षेत्र के लिए एक राष्ट्रीय सहयोग नीति लाएगी। सरकार राज्यों के साथ साझेदारी में कृषि में डिजिटल पब्लिक इंफ्रास्ट्रक्चर (डीपीआई) के कार्यान्वयन की सुविधा भी देगी। उन्होंने झींगा ब्रूडस्टॉक्स के लिए न्यूक्लियस प्रजनन केंद्रों का एक नेटवर्क स्थापित करने के लिए वित्तीय सहायता की घोषणा की।
उन्होंने कहा कि सरकार राज्यों के साथ साझेदारी में कृषि के लिए डिजिटल सार्वजनिक बुनियादी ढांचे को बढ़ावा देगी। वित्त वर्ष 2024-25 का बजट पेश करते हुए उन्होंने कहा कि राज्यों के साथ साझेदारी में केंद्र कृषि के लिए डिजिटल सार्वजनिक बुनियादी ढांचे को बढ़ावा देगा, जबकि पांच राज्यों में जनसमर्थन आधारित ‘किसान क्रेडिट कार्ड’ पेश किया जाएगा। उन्होंने कहा कि इसके अलावा सरकार दालों के उत्पादन, भंडारण तथा विपणन को मजबूत करेगी। ग्रामीण अर्थव्यवस्था की तेज वृद्धि और रोजगार के अवसरों का सृजन नीतिगत लक्ष्य होगा। उन्होंने कहा कि सरकार झींगा पालन और विपणन के लिए भी वित्त उपलब्ध कराएगी।