इसके बाद सदन में चिटफंड कंपनियों के अवैध कारोबार का मामला उठा। पूर्व मंत्री एवं वरिष्ठ कांग्रेस विधायक गोविंद सिंह ने ध्यानाकर्षण प्रस्ताव के माध्यम से मामले को उठाते हुए आरोप लगाया कि ग्वालियर चंबल संभाग में कई फर्जी कंपनियां कारोबार कर रही हैं। उन्होंने बताया कि जीवन सुलभ नाम की फर्जी कंपनी 53 लाख रुपये लेकर फरार हो चुकी है। उन्होंने यह भी बताया कि यह कंपनियां हर साल पासबुक बदलकर फर्जीवाड़ा कर रही हैं। इसमें को-ऑपरेटिव सोसायटी की सांठगांठ भी सामने आ रही है। ऐसे मामलों की उच्चस्तरीय जांच होना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि राज्य स्तरीय कमेटी इसकी जांच करें और मामला ईओडब्ल्यू को सौंपा जाए। इस पर सहकारिता मंत्री डॉ. अरविंद सिंह भदौरिया ने कहा कि इसे लेकर गाइडलाइन बनाई जा रही है, ताकि ऐसी कंपनियों का रिकॉर्ड पोर्टल में दर्ज किया जा सके। उन्होंने कहा कि प्रदेश में एंटी माफिया अभियान चल रहा है, जिसमें सरकार चिटफंड कंपनियों के खिलाफ भी कड़ी कार्रवाई कर रही है।