By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Nov 23, 2019
नई दिल्ली। ईटी ऐज और फ्यूचरस्केप ने रिस्पाँसिबल बिज़नेस रैकिंग्स 2019 का छठा संस्करण घोषित कर दिया है। यह रैकिंग भारत के उन कॉर्पोरेट् समूहों की सबसे विशद सूची है जो सतत् विकास लक्ष्यों की प्राप्ति के लिए सकारात्मक कदम उठाते हैं। इस अध्ययन को ईटी एसडीजी 2019 सम्मिट में जारी किया गया, इसमें देश की शीर्ष 100 कंपनियां शामिल हैं। 2019 संस्करण में टाटा कैमिकल्स शीर्ष पर रही जबकि इंफोसिस व भारत पैट्रोलियम कॉर्पो रेशन ने क्रमशरू दूसरा व तीसरा स्थान प्राप्त किया।
2019 ईटी ऐज−फ्यूचरस्केप ने रिस्पाँसिबल बिज़नेस रैकिंग्स में 100 कॉर्पोरेट् के नाम शामिल हैं जिन्होंने गवर्नेंस, पर्यावरण व समाज के स्तर पर काम किए हैं। 2019 के अध्ययन में सतत् विकास लक्ष्यों के इर्दिगर्द किए गए कार्यों व डिस्क्लोज़र पर भी सक्रियता से प्रकाश डाला गया है। 2017 यूएन सस्टेनेबल डैवलपमेंट सम्मिट में 193 सदस्य देशों ने वादा किया कि वे सतत् विकास लक्ष्यों (एसडीजी) को अपनाएंगे और सतत् विकास हेतु 2030 के एजेंडा पर प्रतिबद्धता प्रकट की। 17 एसडीजी और परस्पर जुड़े 169 लक्ष्यों में गरीबी उन्मूलन से लेकर जलवायु परिवर्तन को रोकने तक के काम शामिल हैं। इन एसडीजी को 2030 तक लागू किया जाना है। उपरोक्त रैंकिंग में शामिल 100 में से 65 कंपनियों ने इन एसडीजी को अपनी जिम्मेदाराना कारोबारी कदमों में उतारना शुरु कर दिया है। सभी शीर्ष 10 कंपनियों ने अपनी एसडीजी को 'मैप' किया है।
2019 संस्करण में प्रमुख रूप से देश में व्यापारिक दायित्व की स्थित पिर दिलचस्प निष्कर्ष प्राप्त हुए हैं। यह रिपोर्ट बताती है कि सामाजिक, पर्यावरणीय व गवर्नेंस संबंधी कार्यों पर निवेश के मामले में प्राइवेट सेक्टर की कंपनियों ने सरकारी कंपनियों को पीछे छोड़ दिया है। मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर ने सर्विस सेक्टर को पछाड़ दिया है तथा इंफ्रास्ट्रक्चर व ऊर्जा जैसे क्षेत्र सस्टेनेबिलिटी के मामले में कैपिटल गुड्स एवं वित्तीय सेवाओं के मुकाबले ज्यादा जिम्मेदार हैं।
इसे भी पढ़ें: एयर इंडिया के निजीकरण का विरोध करेगा एयरलाइन कर्मचारी संघ
फ्यूचरस्केप की सह−लेखिका व निदेशक नम्रता राणा ने इस रिपोर्ट के बारे में कहा कि सस्टेनेबिलिटी व जिम्मेदारी के बारे में चर्चा इस से बेहतर वक्त में नहीं हो सकती थी। दुनिया एक ऐसे परिदृश्य का गवाह बन रही है जहां सालों तक प्रकृति व उसके संसाधनों का शोषण होता आया है जिसके चलते अब जलवायु परिवर्तन, व्यापक प्रदूषण व घटता जल स्तर भयानक वास्तविकता बन गए हैं। जो लोग/संगठन पर्यावरण, सस्टेनेबिलिटी व सामाजिक बदलाव की दिशा में ठोस योगदान दे रहे हैं उनकी प्रशंसा होनी ही चाहिए ताकि वे अन्य लाखों की प्रेरणा बन सकें। हमने छटे संस्करण में यह भी जोड़ा है कि भारतीय कॉर्पो रेट्स द्वारा सतत् विकास लक्ष्यों के अत्यंत प्रासंगिक मुद्दों पर अग्रसक्रिय पहलकदमियां की गई हैं। जो चीज हमें आशावादी बनाती है वह यह है कि भारतीय कंपनियां एसडीजी को ज्यादा सक्रियता से अपना रही हैं, इसलिए वे न सिर्फ एक बढ़ती अर्थव्यवस्था को पुख्ता कर रही हैं बल्कि आगामी वर्षों में एक हरेभरे व स्वच्छ देश का मार्ग प्रशस्त कर रहे हैं।'
वर्ल्डवाइड मीडिया के सीईओ दीपक लाम्बा ने कहा, 'वैश्विक भागीदारों के नॉलिज व कनेक्ट पार्टनर होने के नाते ईटी ऐज में हमने हमेशा उन विषयों पर अहम बहस को शुरु करने में यकीन रखा है जो निर्णय कर्ताओं व नेताओं के लिए प्रासंगिक रहे हैं। एसडीजी ऐसा ही एक मोर्चा है − यह न केवल भविष्य में व्यापारों की वृद्धि के लिए प्रमुख घटक है बल्कि यह ऐसे व्यापार जिन स्टेकहोल्डरों व समुदायों की सेवा करना चाहते हैं यह उनका कायम रहना भी सुनिश्चित करता है। 2019 संस्करण कॉर्पो रेट भारत व उसकी प्राथमिकताओं की सकारात्मक तस्वीर पेश करता है। मुझे यकीन है कि एक महत्वपूर्ण थीम के इर्दिगर्द ऐसी बातचीत निरंतर होने से हमें इस दुनिया को आकार देने में मदद मिलेगी।
इस रिपोर्ट को उत्कर्ष मजुमदार और नम्रता राणा ने लिखा है, दोनों ही आईआईएम अहमदाबाद के पूर्व विद्यार्थी हैं। यह रिपोर्ट नई दिल्ली में हुए ईकॉनॉमिक टाइम्स एसडीजी इम्पैक्ट सम्मिट के पहले संस्करण में जारी की गई थी। इस सम्मिट की संकल्पना ईटी−ऐज तथा द वर्ल्ड वी वान्ट (एक वैश्विक सामाजिक प्रभाव उपक्रम) द्वारा संयुक्त रूप से की गई है।
इसे भी पढ़ें: सात कारोबारी सत्रों के बाद आई गिरावट, सेंसेक्स 54 अंक टूटकर 40,248 पर हुआ बंद
इस सम्मिट में 600 प्रतिनिधियों व सहभागियों ने हिस्सा लिया जो सरकार, मीडिया, प्रतिभा, सिविल सोसाइटी, शिक्षा जगत, नीति, गैर सरकारी संगठन व कॉर्पोरेट्स से संबंध रखते थे। इस सम्मिट का उद्घाटन मुख्य अतिथि, केन्द्र मंत्री श्री गजेन्द्र सिंह शेखावत ने किया। सरकार की ओर से शामिल होने वाले गणमान्य व्यक्तियों में शामिल थे− लोक सभा सांसद श्रीमती मीनाक्षी लेखी तथा राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिशन, जल शक्ति मंत्रालय के महानिदेशक श्री रंजन मिश्रा।
इस आयोजन के पैनल में शामिल हुए प्रतिष्ठित कॉर्पोरेट हस्तियां थीं− अपोलो हॉस्पिटल्स ग्रुप की वाइस−चेयरपर्स न प्रीता रेड्डी, श्नाइडर इलेक्टि्रक इंडिया के प्रबंध निदेशक व कंट्री पे्रसिडेंट अनिल चौधरी, डाबर नेपाल के चेयरमैन प्रदीप बर्मन, गूंज के संस्थापक अंशु गुप्ता, ईकोलैब इंडिया के प्रबंध निदेशक मुकुंद वासुदेवन। इनके साथ शामिल हुए अनुभवी अफसरशाह भारत सरकार के सचिव सीईओ पवन कुमार अग्रवाल, आईएएस तथा विश्व बैंक में सीनियर डायरेक्टर−क्लाइमेट चेंज जॉन रूम और यूएन ऐन्वार्यनमेंट्स चैम्पियंस ऑफ द अर्थ सोनिका मननधर (नेपाल), लुइस माबुलो (फिलिपीन्स), ओमर इटानी (लेबनान) भी इस कार्यक्रम में आए। इनके अलावा अभिनेत्री स्वरा भास्कर व निर्देशक ताहिरा कश्यप खुराना भी पैनल में शामिल हुए तथा सतत् विकास लक्ष्यों के विविध पहलुओं पर अपनी बात रखी।
इसे भी पढ़ें: सेंसेक्स में 582 अंक का उछाल, टाटा मोटर्स का शेयर 17 प्रतिशत उछला
टाइम्स स्ट्रेटेजिक सॉल्यूशंस लिमिटेड के बारे में
टाइम्स स्ट्रेटेजिक सॉल्यूशंस लि. ब्रांड नाम ईटी ऐज के तहत काम करती है। यह ईकॉनॉमिक टाइम्स की पहल है जिसे अनेक उद्योगों व खंडों को सशक्त बनाने के लिए स्थापित किया गया है। इस हेतु रणनीतिक सम्मेलनों व प्रदर्शिनयों के जरिए महत्वपूर्ण कारोबारी जानकारी साझा की जाती है। ईटी ऐज की कोशिश है कि दूरदर्शी व प्रमुख अग्रणी व्यक्तियों को अपने नॉलिज प्लैटफॉर्म पर लाया जाए और सामाजिक व कारोबारी वातावरण बनाया जाए जो इंडस्ट्री के लिए आवश्यक सकारात्मक बदलावों के लिए सहयोगात्मक हो। द वर्ल्ड वी वॉन्ट के बारे में द वर्ल्ड वी वॉन्ट एक वैश्विक सामाजिक प्रभाव उपक्रम है, जो दुनिया के हर कोने से लोगों की प्राथमिकताओं को एकत्रित करता है और एक सम्मिलति नजरिया बनाने में मदद देता है जिसका उपयोग सीधे संयुक्त राष्ट्रों और विश्व नेताओं द्वारा किया जाता है ताकि नए विकास एजेंडा की योजना बनाई जा सके जो सभी नागरिकों की आकांक्षाओं पर आधारित हो। वैश्विक संवाद में शामिल होईए। अपनी आवाज सांझा कीजिए। यह सब आपसे शुरु होता है। आप किस किस्म की दुनिया चाहते हैं