By नीरज कुमार दुबे | Aug 27, 2021
काबुल हवाई अड्डे पर हुए दो आत्मघाती हमलों में 13 अमेरिकी सैनिकों समेत 100 से ज्यादा लोगों के मारे जाने के बाद अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन अपने देश में राजनीतिक रूप से बुरी तरह घिर गये हैं। विपक्ष उनसे सवाल पर सवाल कर रहा है लेकिन बाइडेन अमेरिकी फौजों को वापस बुलाने के फैसले को एक बार फिर सही ठहराते हुए कह रहे हैं कि काबुल हवाई अड्डे के हमलावरों को पकड़ कर सजा दी जायेगी। अब बाइडेन चाहे जितने भी बड़े-बड़े दावे करें लेकिन उनके प्रशासन की कमजोरी की हकीकत अमेरिकी लोग ही सामने ला रहे हैं। आप जानकर हैरान हो जाएंगे कि तालिबान के पास अब 85 अरब डॉलर मूल्य के अमेरिकी सैन्य उपकरण और पिछले 20 वर्षों में अफगान सैनिकों की सहायता करने वाले अफगानों के बायोमेट्रिक डेटा पहुंच चुका है। अब सोचिये जब तालिबान को यह पता लग चुका है कि किन-किन अफगानियों ने अमेरिका की मदद की तो उनके जीवन पर कितना खतरा होगा?
अमेरिकी रक्षा उपकरण तालिबान के पास
यही नहीं अमेरिका के 75,000 वाहन, 200 हवाई जहाज और हेलीकॉप्टर तथा 600000 छोटे हथियार और हल्के हथियार अब तालिबान के हाथ लग चुके हैं। देखा जाये तो तालिबान के पास अब दुनिया के 85 प्रतिशत देशों की तुलना में अधिक ब्लैक हॉक हेलीकॉप्टर हैं। यही नहीं तालिबान द्वारा जब्त किए गए अन्य उपकरणों में नाइट विजन गॉगल्स, बॉडी आर्मर और चिकित्सा उपकरण शामिल हैं। हम आपको बता दें कि यह सभी चीजें पिछले 20 सालों में अमेरिका ने अफगान सुरक्षा बलों को दिये थे जोकि अब तालिबान के हाथ लग चुके हैं।
बाइडन को जवाब देना होगा
बाइडन अमेरिकी लोगों को सकुशल वापस लाने की बात तो कर रहे हैं लेकिन आधुनिक हथियारों का जो बड़ा जखीरा उनकी नीतियों के चलते तालिबान के हाथ लग गया है उसको वापस पाने की उनकी क्या योजना है इस बारे में वह कुछ बात नहीं कर रहे। सोचिये अगर इनमें से किसी भी हथियार या सैन्य उपकरणों का इस्तेमाल किसी अमेरिकी को नुकसान पहुंचाने के लिए किया जायेगा तो इसकी जिम्मेदारी किसकी होगी?