By एकता | Jul 23, 2023
आज के समय में जहाँ बॉलीवुड इंडस्ट्री में नेपोटिस्म अपनी चरम पर पहुंचा हुआ है। वहीं एक समय ऐसा था जब इंडस्ट्री के बड़े से बड़े सितारों को अपने बच्चों पर बिलकुल भी विश्वास नहीं था। आज हम आपको ऐसा ही एक किस्सा सुनाने जा रहे हैं। ये किस्सा पृथ्वीराज कपूर और उनके बेटे राज कपूर से जुड़ा हुआ है। दरअसल, राज कपूर 1951 में फिल्म आवारा बनाना चाहते थे। वह चाहते थे कि उनके पिता पृथ्वीराज कपूर इसे डायरेक्ट करें और इसमें एक्ट भी करें। पृथ्वीराज कपूर को ये फिल्म ऑफर की गई। इसे करने के लिए वह तैयार भी हो गए। लेकिन जब उन्हें पता चला कि उनके बेटे राज कपूर इस फिल्म को बना रहे हैं तो उन्होंने इसे करने से मना कर दिया। चलिए आपको पूरा किस्सा बताते हैं-
राज कपूर फिल्म आवारा बनाने की सोच रहे थे। उन्हें पता था कि उनके पिता पृथ्वीराज कपूर इसके लिए नहीं मानेंगे अगर उन्होंने खुद से इसके लिए उन्हें अप्रोच किया। इसलिए राज ने लेखक अब्बास और साठे को अपने पिता को फिल्म की कहानी सुनाने के लिए बोला। दोनों ने जब पृथ्वीराज को कहानी सुनाई तो उन्हें ये पसंद आयी और वह इसमें काम करने के लिए तैयार हो गए।
इसके बाद पृथ्वीराज ने लेखकों से फिल्म के निर्देशक और नायक के बारे में पूछा। अब्बास ने उन्हें बताया कि उनके बेटे राज कपूर इस फिल्म के निर्माता और अभिनेता हैं। अब्बास की बात सुनते ही पृथ्वीराज ने फिल्म में काम करने से मना कर दिया। पृथ्वीराज का कहना था कि राज को फिल्म बनाना नहीं आती है और वो यह फिल्म खराब कर देंगे। हालाँकि, सब पृथ्वीराज की सोच के उल्ट हुआ और राज ने 'आवारा' के जरिए खुद को साबित किया।