वनस्पति विज्ञान जैविक विज्ञान की एक शाखा है जो पौधों के अध्ययन से संबंधित है। वनस्पति विज्ञान पौधों के विभिन्न समूहों के बीच संरचना, विकास, प्रजनन, चयापचय, विकास, बीमारियों और रासायनिक गुणों और विकासवादी संबंधों का अध्ययन करता है। इसमें तीन सौ हजार से अधिक प्रजातियों के पौधों का अध्ययन किया गया है, जिसमें जमीन पर लगने वाले काई से लेकर विशाल पेड़ तक शामिल हैं। बॉटनी एक करियर के रूप में उन लोगों के लिए सबसे बेहतर माना जाता है, जिनका प्रकृति और पौधों के प्रति आकर्षण है। एक वनस्पति विज्ञानी आधुनिक विज्ञान और उद्योग में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। वानस्पतिक अध्ययन ने कई दवाओं और दवाओं के विकास में मदद की है जो पौधों से निकाले जाते हैं और वास्तव में कई बीमारियों से लड़ने में सहायक होते हैं। यह पौधों के उत्पादन में भी मदद करता है जो कपास, रबर, कागज, रेशम, वनस्पति तेलों आदि जैसे प्राकृतिक कच्चे माल प्रदान करते हैं। ऐसे में अगर आप प्रकृति के करीब रहकर उसे गहराई से समझना चाहते हैं तो वनस्पति विज्ञान में अपना एक उज्ज्वल भविष्य देख सकते हैं−
योग्यता
वनस्पति विज्ञानी के रूप में कॅरियर के लिए न्यूनतम आवश्यकता एक स्नातक की डिग्री है। हालांकि स्नातक की डिग्री प्राप्त करने के बाद आप मास्टर लेवल और डॉक्टरेट लेवल के पाठ्यक्रम भी किए जा सकते हैं। इस क्षेत्र में, वनस्पति विज्ञान के छात्र रुचि के क्षेत्र के अनुसार कई विशेषज्ञता से चुन सकते हैं। जैसे प्लांट पैथोलॉजी, प्लांट फिजियोलॉजी, प्लांट जेनेटिक्स व प्लांट इकोलॉजी आदि।
व्यक्तिगत कौशल
एजुकेशन एक्सपर्ट कहते हैं कि वनस्पति विज्ञान में कॅरियर देख रहे छात्रों को बाहरी वातावरण से प्यार होना चाहिए। उनका मौखिक व लिखित संचार कौशल भी बेहतरीन होना जरूरी है। वनस्पति विज्ञानियों के पास लंबे समय तक काम करने के लिए अच्छे पारस्परिक कौशल, मानसिक सहनशक्ति होनी चाहिए। माइक्रोस्कोप के साथ काम करने की क्षमता महत्वपूर्ण है क्योंकि उनका अधिकांश कार्य प्रयोगशाला में है। इस वैज्ञानिक दुनिया में होने के लिए कंप्यूटर कौशल भी आवश्यक है।
कॅरियर की संभावनाएं
वनस्पति विज्ञानियों के लिए नौकरी की असीम संभावनाएं मौजूद हैं। एजुकेशन एक्सपर्ट कहते हैं कि उनके लिए विकल्प केवल भारत तक ही सीमित नहीं हैं, कई अवसर विदेशों में भी उपलब्ध हैं। हालांकि उनके जॉब के अवसर उनकी शैक्षणिक योग्यता व अनुभव पर करता है। आप चाहें तो विभिन्न शिक्षण संस्थानों में लेक्चरर या प्रोफेसर के रूप में काम कर सकते हैं। इसके अलावा, आप बतौर प्लांट साइंटिस्ट्स व वीड साइंटिस्ट्स भी अपना करियर आगे बढ़ा सकते हैं। एक प्लांट साइंटिस्ट्स विभिन्न राज्य विभागों, बॉटनिकल सर्वे ऑफ इंडिया, पर्यावरण संरक्षण एजेंसी आदि, औषधि कंपनियों, तेल उद्योग, रसायन उद्योग, लकड़ी और कागज़ कंपनियों, आनुवांशिक अनुसंधान उद्योग, वनस्पति उद्यान, नर्सरी, फल उत्पादकों, खाद्य कंपनियों, पुरातात्विक संग्रहालयों में भी काम कर सकतते हैं। इसके अलावा, मेडिकल प्लांट रिसर्च, प्लांट डिसीज, प्लांट ब्रीडिंग और प्लांट जेनेटिक्स जैसे क्षेत्रों में वनस्पति विज्ञानियों की मांग बढ़ रही है। कुछ वनस्पति विज्ञानी जैविक आपूर्ति घरों, बीज कंपनियों, जैव प्रौद्योगिकी फर्मों और दवा निर्माताओं के लिए प्रशासन और विपणन में काम करते हैं।
आमदनी
एक वनस्पति विज्ञानी की आमदनी उनके द्वारा चुने गए फील्ड, शैक्षणिक योग्यता व अनुभव के आधार पर निर्धारित होती है। टीचर व रिसर्चर की शुरूआती आमदनी 12000 से 18000 रूपए प्रतिमाह के बीच हो सकती है।
प्रमुख संस्थान
महारानी लक्ष्मी अम्मानी कॉलेज फॉर विमेन: बॉटनी विभाग, बैंगलोर
एमजी साइंस इंस्टीट्यूट, गुजरात
विजयराजे गवर्नमेंट गर्ल्स पीजी कॉलेज, ग्वालियर
स्वामी विवेकानंद महाविद्यालय, त्रिपुरा
वरूण क्वात्रा