By रेनू तिवारी | Jul 01, 2023
फ्रांस में चौथे दिन भी बड़े पैमाने पर हिंसा जारी रही क्योंकि युवा दंगाइयों ने पुलिस अधिकारियों के साथ झड़प की, सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाया और एक ऐप्पल रिटेल स्टोर सहित कई दुकानों को लूट लिया। इस सप्ताह की शुरुआत में उत्तरी अफ़्रीकी मूल के एक किशोर की पुलिस द्वारा दुखद हत्या के कारण उत्पन्न अशांति कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। यह हिंसा देश में बढ़ती जा रही हैं। दंगे सबसे पहले पेरिस के पश्चिमी बाहरी इलाके में मजदूर वर्ग के शहर नानटेरे में भड़के, जहां मंगलवार को यातायात रोकने के दौरान एक पुलिस अधिकारी ने 17 वर्षीय लड़के नाहेल एम की गोली मारकर हत्या कर दी। अधिकारी पर स्वैच्छिक हत्या का प्रारंभिक आरोप लगाया गया है।
पुलिस द्वारा रोके जाने के बाद गाड़ी चलाते समय नाहेल की बायीं बांह और छाती में एक ही गोली लगने से मौत हो गई। नैनटेरे के सरकारी वकील पास्कल प्राचे ने कहा कि जिस पुलिस अधिकारी ने पीड़ित को गोली मारी, उसने कहा कि उसने ऐसा इसलिए किया क्योंकि उसे डर था कि उसे या अन्य लोगों को चोट लग जाएगी। प्राचे ने बताया कि किशोर को पुलिस पहले यातायात रोक के आदेशों का पालन करने में विफल रहने के लिए जानती थी।
इमैनुएल मैक्रॉन ने आपातकाल की स्थिति घोषित करने से इनकार किया
देश के कई हिस्सों में बड़े पैमाने पर आगजनी और लूटपाट हुई क्योंकि राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रॉन ने आपातकाल की स्थिति घोषित करने से इनकार कर दिया और इसके बजाय, अशांति फैलने के लिए वीडियो गेम को दोषी ठहराया और दंगों को रोकने के लिए माता-पिता से किशोरों को घर पर रखने का आग्रह किया।
1,100 से अधिक युवा पुलिस हिरासत में
देश के आंतरिक मंत्री गेराल्ड डर्मैनिन ने शनिवार सुबह कहा कि अशांति शुरू होने के बाद से शुक्रवार रात 270 लोगों को गिरफ्तार किया गया, जिससे कुल संख्या 1,100 से अधिक हो गई है। गिरफ्तार किये गये प्रत्येक व्यक्ति की औसत आयु मात्र 17 वर्ष है।
फ़्रांस में दंगों के दौरान अब तक जो कुछ सामने आया, उसके मुख्य बिंदु इस प्रकार हैं:
1- फ्रांस की राजधानी पेरिस में पुलिस द्वारा एक किशोर को गोली मारे जाने की घटना के बाद यहां लगातार चौथे दिन लोगों ने बड़े पैमाने पर प्रदर्शन किया। इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने अवरोधक लगाकर सड़कों को अवरूद्ध कर दिया, आगजनी की और पुलिसकर्मियों पर पटाखे फेंके। पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को नियंत्रित करने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़े और पानी की बौछारें डाली। इस सिलसिले में 1100 से अधिक लोगों को गिरफ्तार किया गया है और प्रदर्शनकारियों के साथ झड़प की घटनाओं में 200 पुलिस अधिकारी घायल हो गये।
2- गौरतलब है कि मंगलवार को यातायात जांच के दौरान 17 वर्षीय नाहेल की हत्या का वीडियो भी सामने आया है। इस घटना ने देश को झकझोर कर रख दिया है और लोग काफी आक्रोशित हैं। इस बीच फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने शुक्रवार को माता-पिता से किशोरों को घर पर रखने का आग्रह किया और पूरे फ्रांस में फैल रहे दंगों को रोकने के लिए सोशल मीडिया पर प्रतिबंध लगाने का प्रस्ताव रखा।
3- वरिष्ठ मंत्रियों के साथ दूसरी आपात बैठक के बाद, मैक्रों ने कहा कि ‘स्नैपचैट’ और ‘टिकटॉक’ जैसे सोशल मीडिया मंचों ने इस सप्ताह हिंसा की गतिविधियों को बढ़ावा देने में भूमिका निभाई। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार ‘‘सबसे संवेदनशील सामग्री को हटाने’’ के लिए प्रक्रिया स्थापित करने के लिए प्रौद्योगिकी कंपनियों के साथ काम करेगी।
4- इस घटना के बाद फ्रांस में हिंसक विरोध प्रदर्शन भड़क उठे और जगह-जगह आगजनी की घटनाएं हुईं तथा विरोध प्रदर्शन तीसरी रात भी जारी रहा। फ्रांस की राष्ट्रीय पुलिस एजेंसी ने कहा कि हिरासत में लिए गए 875 लोगों में से लगभग आधे पेरिस क्षेत्र से हैं। अधिकारियों ने बताया कि प्रदर्शनकारियों ने उपनगर क्लिची-सूस-बोइस के सिटी हॉल में आग लगा दी और ऑबर्विलियर्स में एक बस डिपो को आग के हवाले कर दिया। उन्होंने बताया कि पेरिस के कई इलाकों में लोगों के समूहों ने सुरक्षा बलों पर पटाखे फेंके।
5- क्षेत्रीय अधिकारियों ने बताया कि शहर के 12वें प्रांत के पुलिस थाने पर हमला किया गया, जबकि रिवोली स्ट्रीट, लौवर संग्रहालय के निकट और मध्य पेरिस के सबसे बड़े शॉपिंग मॉल ‘फोरम डेस हॉलेस’ में कुछ दुकानें लूट ली गईं। उन्होंने बताया कि कि भूमध्यसागरीय बंदरगाह शहर मार्सिले में, पुलिस ने शहर के मध्य में हिंसक समूहों को तितर-बितर करने की कोशिश की। पेरिस पुलिस मुख्यालय के अनुसार विरोध प्रदर्शनों को नियंत्रित करने लिए लगभग 40,000 पुलिस अधिकारियों को तैनात किया गया है।
6- राष्ट्रीय पुलिस प्रवक्ता के अनुसार, लगभग 200 पुलिस अधिकारी घायल हुए। इस बीच गृह मंत्री गेराल्ड डारमनिन ने शुक्रवार को हिंसा की घटनाओं की निंदा की। नाहेल की मां मौनिया एम ने ‘फ्रांस 5’ टेलीविजन को बताया कि वह उस पुलिस अधिकारी से बहुत अधिक गुस्सा हैं जिसने उनके इकलौते बच्चे को मार डाला। उन्होंने कहा, ‘‘मेरे बेटे को न्याय मिलना चाहिए।’’ उन्होंने कहा, ‘‘एक पुलिस अधिकारी अपनी बंदूक लेकर हमारे बच्चों पर गोली नहीं चला सकता, हमारे बच्चों की जान नहीं ले सकता।