By अंकित सिंह | Jan 07, 2025
चुनाव आयोग ने मंगलवार को दिल्ली में आप और भाजपा सहित विभिन्न दलों द्वारा लगाए गए चुनावी हेरफेर के आरोपों को खारिज कर दिया और कहा कि राजनीतिक दलों के साथ घनिष्ठ समन्वय और पूरी पारदर्शिता के साथ की गई व्यापक प्रक्रियाओं के कारण इस तरह की हेरफेर असंभव है। चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने कहा कि मुख्य चुनाव आयुक्त के तौर पर यह मेरी आखिरी प्रेस कॉन्फ्रेंस है। उन्होंने कहा कि कुछ प्रकार की चिंताएँ थीं जो राजनीतिक दलों द्वारा उठाई गईं। कहा गया कि मतदाता सूची में गलत तरीके से नाम जोड़े और हटाए गए। यह भी कहा गया कि कुछ समूहों को निशाना बनाया गया और उनके नाम हटा दिए गए। ईवीएम को लेकर भी जवाब देते हुए कहा गया कि ईवीएम से छेड़छाड़ की जा सकती है।
राजीव कुमार ने कहा कि भारतीय मतदाता बेहद जागरूक हैं। मतदाता सूची को लेकर अब भी कहानियां चल रही हैं। लगभग 70 चरण हैं। जिनमें राजनीतिक दल और उम्मीदवार हमारे साथ रहते हैं। जो भी दावे और आपत्तियां आती हैं - उन्हें सभी राजनीतिक दलों के साथ साझा किया जाता है। प्रपत्र 7 के बिना कोई भी विलोपन नहीं किया जा सकेगा। उन्होंने आगे कहा कि यहां ईवीएम में अविश्वसनीयता या किसी खामी का कोई सबूत नहीं है। ईवीएम में वायरस या बग लाने का कोई सवाल ही नहीं है। ईवीएम में अवैध वोट का कोई सवाल ही नहीं है। कोई हेराफेरी संभव नहीं है।
उन्होंने कहा कि हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट लगातार अलग-अलग फैसलों में यह बात कह रहे हैं... और क्या कहा जा सकता है? ईवीएम गिनती के लिए अचूक उपकरण हैं। टेंपरिंग के आरोप निराधार हैं। हम अभी बोल रहे हैं क्योंकि जब चुनाव होते हैं तो हम नहीं बोलते। उन्होंने कहा कि मतदाता मतदान का प्रतिशत बदलना असंभव है। कुछ मतदान दल आधी रात या अगले दिन रिपोर्ट करते हैं। गिनती से पहले फॉर्म 17सी का मिलान किया जाता है। ऐसा कुछ भी नहीं है जो वीटीआर समझा न सके। यह पूरी तरह से समझाता है। उन्होंने यह भी कहा कि हम बहुत जल्द ही 100 करोड़ मतदाताओं वाला देश बनने जा रहे हैं, मतदाताओं की कुल संख्या 99 करोड़ को पार कर चुकी है।