By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Feb 13, 2019
नयी दिल्ली। भारत के नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (कैग) ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि 36 लड़ाकू राफेल विमानों की खरीद के लिए राजग सरकार ने जो सौदा किया वह इन विमानों की खरीद के लिए 2007 में की गई तत्कालीन संप्रग सरकार की वार्ता पेशकश की तुलना में 2.86 फीसदी सस्ता है। कैग की रिपोर्ट बुधवार को संसद में पेश की गई। इस रिपोर्ट में कैग ने कहा है कि भारत के लिहाज से किए गए संवर्द्धन के नजरिये से यह सौदा 17.08 फीसदी सस्ता है। रिपोर्ट के अनुसार, इंजीनियरिंग संबंधी पैकेज और प्रदर्शन के आधार पर हर तरह के साजो सामान के संदर्भ में यह सौदा हालांकि 6.54 फीसदी महंगा है।
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इस रिपोर्ट में कहा गया है कि राजग सरकार के तहत हुआ राफेल सौदा, 2007 में तत्कालीन संप्रग सरकार के दौरान इस सौदे पर हुई वार्ता पेशकश की तुलना में 2.86 प्रतिशत सस्ता है। यह रिपोर्ट मोदी सरकार के लिए बहुत राहत देने वाली है क्योंकि कांग्रेस और अन्य विपक्षी दल सरकार पर राफेल विमान सौदे को लेकर लगातार आरोप लगाते रहे हैं और सौदे की संयुक्त संसदीय समिति से जांच कराने की मांग करते रहे हैं। संसद के बजट सत्र में भी यह मुद्दा दोनों सदनों में छाया रहा और इसकी वजह से कार्यवाही भी बाधित हुई। केंद्र ने हालांकि इस बारे में विपक्ष द्वारा लगाये गये आरोपों को लगातार खारिज किया है।