By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Jan 01, 2021
नयी दिल्ली। पिछले कुछ अर्से में अपने शानदार प्रदर्शन के दम पर दुनिया के सर्वश्रेष्ठ पुरूष एथलीट का पुरस्कार जीतने वाले पोल वॉल्टर अर्मांड मोंडो डुप्लांटिस ने स्वीकार किया कि कोरोना महामारी के बीच तोक्यो ओलंपिक में अपेक्षाओं के दबाव पर खरा उतरना आसान नहीं होगा लेकिन उन्हें अपने पहले ओलंपिक का बेताबी से इंतजार है। स्वीडन के 21 वर्षीय डुप्लंटिस को वर्ष 2020 का सर्वश्रेष्ठ पुरूष एथलीट चुना गया। उन्होंने 2019 में दोहा विश्व चैम्पियनशिप में रजत पदक जीता और पिछले साल फरवरी में पोलैंड में 6 . 17 मीटर का विश्व रिकार्ड बनाया। इसके बाद सितंबर में खेल की बहाली पर 6 . 15 मीटर के साथ रोम डायमंड लीग में रजत पदक जीता। सर्जेइ बुबका का रिकार्ड तोड़ने वाले इस पोल वॉल्टर ने ‘वियोन’ चैनल से खास बातचीत में कहा ,‘‘ मैने पहले कभी ओलंपिक नहीं खेला है लेकिन मुझे पता है कि दुनिया भर के एथलीटों से मिलना कितना खास होता होगा। इस बार कोरोना महामारी के कारण हालात अलग होंगे लेकिन इसकी आदत डालनी होगी।
उम्मीद है कि भले ही प्रतिबंधों के साथ हों, लेकिन ओलंपिक हों।’’ बुबका का आउटडोर रिकार्ड तोड़ने के अनुभव पर उन्होंने कहा ,‘‘ सर्जेइ बुबका दुनिया के सर्वश्रेष्ठ पोल वॉल्टर हैं। मैं उनसे बेहतर बनना चाहता हूं। उनसे अधिक उपलब्धियां अर्जित करना चाहता हूं जो पहले किसी ने देखी नहीं हो लेकिन अभी मैने सिर्फ शुरूआत की है।’’ उन्होंने स्वीकार किया कि ओलंपिक में उन पर अपेक्षाओं का काफी दबाव होगा लेकिन उन्हें खुद से भी काफी अपेक्षायें हैं। डुप्लांटिस ने कहा ,‘‘ मैं बचपन से यह मानकर चला हूं कि मेरे भीतर विश्व रिकार्ड बनाने की क्षमता है। मुझे विश्वास है कि मैं ओलंपिक स्वर्ण जीत सकता हूं। मैं अपेक्षाओं के बोझ से विचलित नहीं होता लेकिन इस बार अच्छे प्रदर्शन का दबाव पहले से कहीं अधिक है।