By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Mar 21, 2022
शिमला। हिमाचल प्रदेश में विधानसभा चुनाव हालांकि इस साल के अंत में होने तय हैं। लेकिन प्रदेश में सियासी महौल अभी से गरमा गया है। प्रउेश के सियासी मानचित्र पर एकाएक आम आदमी पार्टी उभर कर सामने आई है। जिससे सत्तारूढ भारतीय जनता पार्टी व कांग्रेस पार्टी जैसे पारंपरिक दलों में भी बेचैनी का महौल है। शिमला नगर निगम के चुनाव आप के निशाने पर हैं। आप के बडे नेताओं के प्रदेश में दौरे शुरू हो गये हैं।
दरअसल , पंजाब विधानसभा चुनाव में जीत व भगवंत मान की सरकार बनने के बाद मात्र दस दिन में ही प्रदेश में आम आदमी पार्टी से 26 हजार नए सदस्य जुड चुके हैं। आप का दावा है कि चुनाव परिणाम से पहले प्रदेश में उनके सदस्य 1.50 लाख थे, जिनकी संख्या रविवार तक 1.76 लाख पहुंच गई है। आप से जुड़े नए सदस्यों में अधिकतर वकील, डॉक्टर और पूर्व अधिकारी बताए जा रहे हैं। यही नहीं, सदस्यता अभियान को और तेज करने के लिए दिल्ली से पर्यवेक्षक भेजे गए हैं। जल्द ही प्रदेश में आप की युवा और महिला ब्रिगेड बनाने की तैयारी भी है।
बताया जा रहा है कि दिल्ली से भेजे गए पर्यवेक्षक जनता के बीच जाकर आप के प्रति टोह ले रहे हैं। भाजपा और कांग्रेस से नाराज चल रहे पूर्व मंत्री व विधायक भी इन दिनों दिल्ली में आप के संयोजक अरविंद केजरीवाल से संपर्क साध रहे हैं।
आप के प्रदेश उपाध्यक्ष एवं प्रदेश के पूर्व डीजीपी आईडी भंडारी ने दस दिन के भीतर 26 हजार नए सदस्य जुड़ने का दावा किया है। भंडारी ने कहा कि आने वाले दिनों में यह आंकड़ा लाखों में होगा। अपनी सापफ सुथरी छवि के लिये मशहूर भंडारी बिलासपुर सदर से चुनाव लडने की तैयारी कर रहे हैं। अपनी मिडनाईट रेड पुस्तक से भंडारी र्चा में आये थे।
उन्होंने बताया कि आप के संयोजक अरविंद केजरीवाल के रोड शो में 25 हजार लोगों के उमड़ने की उम्मीद की जा रही है। यह रोड शो 6 अप्रैल को मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के गृह जिला मंडी में होगा। इसमें पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान भी शामिल होंगे। इसकी तैयारियों के सिलसिले में दिल्ली के स्वास्थय मंत्री सत्येन्दर जैन इन दिनों मंडी में डेरा डाले हैं।
आप के हिमाचल प्रभारी रत्नेश गुप्ता ने कहा कि मंडी में बड़ा रोड शो होगा। प्रदेश में आप मजबूती के साथ उभरकर सामने आएगी। आप पंजाब का फार्मूला यहां भी अपनाने पर विचार कर रही है। अफ सरों सहित भाजपा और कांग्रेस के नेता आप के संपर्क में हैं। ईमानदार छवि वाले नेताओं को पार्टी में शामिल किया जाना है।