By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Nov 03, 2022
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को कहा कि प्रदेश के विभिन्न जनपदों में स्थित शत्रु सम्पत्तियों की सुरक्षा सुनिश्चित की जानी आवश्यक है।उन्होंने कहा कि कई स्थानों पर अतिक्रमण की भी सूचना है, ऐसे में सभी शत्रु सम्पत्तियों की अद्यतन स्थिति की रिपोर्ट तैयार की जाए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि इन सम्पत्तियों को अतिक्रमण से मुक्त कराने के लिए गृह विभाग की निगरानी में प्रदेशव्यापी कार्रवाई शुरू की जाए एवं शत्रु सम्पत्ति की सुरक्षा, निगरानी व प्रबन्धन के लिए प्रमुख सचिव स्तर के अधिकारी को नोडल अधिकारी के रूप में तैनात किया जाए। एक सरकारी बयान के मुताबिक मुख्यमंत्री आदित्यनाथ ने कहा कि अन्तर्राज्यीय एवं अन्तर्राष्ट्रीय सीमा पर स्थित गांवों को ‘वाइब्रेंट’ बनाने के लिए हमें नियोजित प्रयास करने की आवश्यकता है।
उन्होंने कहा कि सीमावर्ती गांवों एवं जनपदों की सांस्कृतिक एवं ऐतिहासिक विरासतों की बेहतर ब्राण्डिंग करते हुए यहां पर्यटन विकास की सम्भावनाओं को आकार दिया जाना चाहिए। मुख्यमंत्री ने कहा किस्कूली बच्चों, एनसीसी (राष्ट्रीय कैडेट कोर), एनएसएस के कैडेट/स्वयंसेवकों को इन क्षेत्रों का भ्रमण कराये जाना चाहिए।
उन्होंने कहा कि इन क्षेत्रों में निवासरत सेवानिवृत्त सैन्य कर्मियों व अर्धसैनिक बलों के जवानों को ‘सरहद के सिपाही’ के रूप में पहचान देते हुए यहां की व्यवस्था को सुचारु रखने में आवश्यकतानुसार सहयोग लिया जाना भी उचित होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि सीमावर्ती जिलों में केन्द्र व राज्य सरकार की जनहितकारी योजनाओं का 100 प्रतिशत संतृप्तिकरण सुनिश्चित कराया जाए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि साइबर सुरक्षा के महत्व को दृष्टिगत रखते हुए पुलिस परिक्षेत्र के बाद अब प्रदेश के हर जिले में एक साइबर अपराध थाने की स्थापना की आवश्यकता है; यह थाना स्थानीय सुविधानुसार जिलों के रिजर्व पुलिस लाइन में स्थापित किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि राज्य स्तर पर संयुक्त साइबर ‘को-ऑर्डिनेशन’ (समन्वय) टीम गठित की जाए, जिसमें पुलिस विभाग के अलावा साइबर विशेषज्ञों को भी शामिल किया जाए।
मुख्यमंत्री ने इस संबध मेंविस्तृत कार्ययोजना तैयार कर प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है। उन्होंने कहा कि महिला सुरक्षा, सम्मान व स्वावलम्बन के संकल्प की पूर्ति में ‘सेफ सिटी परियोजना’ अत्यन्त उपयोगी सिद्ध हो रही है। योगी आदित्यनाथ ने कहा कि प्रदेश में इस परियोजना के माध्यम से लखनऊ पुलिस आयुक्तालय के अन्तर्गत आधुनिक नियंत्रण कक्ष, पिंक पुलिस बूथ, आशा ज्योति केन्द्र, सीसीटीवी कैमरे, महिला थानों में परामर्शदाताओं के लिए हेल्प डेस्क, बसों में आपात बटन व अन्य सुरक्षा उपायों को लागू करने में सहायता मिली है।