By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Aug 16, 2022
कोलंबो, 16 अगस्त। श्रीलंका के राष्ट्रपति रानिल विक्रमसिंघे ने अपने देश को डोर्नियर विमान उपहार में दिए जाने पर सोमवार को भारत का आभार व्यक्त किया और कहा कि इससे समुद्री निगरानी में भारतीय नौसेना के साथ श्रीलंकाई वायुसेना और नौसेना के बीच सहयोग शुरू करने में मदद मिलेगी। विक्रमसिंघे समुद्री निगरानी विमान सौंपे जाने के समारोह में उपस्थित थे। यह कार्यक्रम उस दिन हुआ जब भारत ने अपना 76 वां स्वतंत्रता दिवस मनाया। उन्होंने कहा, यह समुद्री निगरानी में भारतीय नौसेना के साथ श्रीलंकाई वायुसेना, श्रीलंकाई नौसेना के बीच सहयोग की शुरुआत है।
विक्रमसिंघे ने सोमवार को भारत के स्वतंत्रता दिवस की वर्षगांठ का जिक्र करते हुए कहा कि वह देश के प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के प्रसिद्ध नियति से वादा भाषण से प्रेरित हैं, जो भारत की आजादी की पूर्व संध्या पर 14 अगस्त, 1947 को दिया गया था। उन्होंने कहा, यह पंडित नेहरू द्वारा तय किया गया आगे का रास्ता दिखा रहा है ... भारत ने इसे समझा और आज वह विश्व शक्ति बन रहा है, और यह अब भी उत्थान पर है - मध्य शताब्दी तक जब हम वहां नहीं हैं, तो आप एक शक्तिशाली भारत देख सकते हैं जो वैश्विक मंच पर प्रमुख भूमिका निभा रहा है।”
विक्रमसिंघे ने कहा कि नेहरू ने श्रीलंका को संयुक्त राष्ट्र का सदस्य बनवाने में अग्रणी भूमिका निभाई थी और पूरा सहयोग दिया था। उस समय संयुक्त राष्ट्र में भारत के प्रतिनिधि रहे वी कृष्ण मेनन ने विक्रमसिंघे के पिता की मदद की थी, जो उस समय संयुक्त राष्ट्र की सदस्यता प्राप्त करने के लिए श्रीलंका सरकार की ओर से काम कर रहे थे। विक्रमसिंघे ने कहा कि वह उभरते हुए श्रीलंकाई नेताओं को सलाह देना चाहेंगे कि वे अपने भारतीय सहयोगियों को अच्छी तरह से जानें।