By अंकित सिंह | Jul 05, 2022
शिवसेना और उद्धव ठाकरे के लिए मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। महाराष्ट्र में पार्टी में बगावत के बाद उद्धव ठाकरे के हाथ से सत्ता पहले ही जा चुकी है। अब पार्टी को बचाने की पूरी तरह से कवायद की जा रही है। इन सब के बीच एक ऐसी खबर आ रही है जो कि शिवसेना के लिए आगे की मुश्किलों को और बढ़ा सकती हैं। खबर के मुताबिक शिवसेना में एकनाथ शिंदे गुट का दावा मजबूत होता दिखाई दे रहा है। सूत्रों का दावा तो यह भी है कि शिवसेना के 18 में से 11 सांसद एकनाथ शिंदे के साथ खड़े हो सकते हैं। कहीं ना कहीं यह शिवसेना के लिए किसी बड़े झटके से कम नहीं होगा। हालांकि एकनाथ शिंदे गुट का दावा है कि असली शिवसेना वही है। आपको बता दें कि शिवसेना के 40 से ज्यादा विधायक फिलहाल एकनाथ शिंदे के साथ खड़े दिखाई दे रहे हैं।
जो सांसद एकनाथ शिंदे के साथ खड़े दिखाई दे रहे हैं उनमें कल्याण से सांसद और एकनाथ शिंदे के बेटे श्रीकांत शिंदे, ठाणे से सांसद राजन विचारे, दक्षिण मध्य मुंबई से सांसद राहुल शेवाले, यवतमाल से सांसद भावना गवली, नासिक से सांसद हेमंत गोडसे शामिल हैं। इसके अलावा रामकेट से सांसद कृपल तुमने, हिंगोली से हेमंत पाटिल, बुलढाणा से प्रतापराव जाधव, शिर्डी से सदशिव लोखंडे, पालघर से राजेंद्र गावित और मावल से श्रिरंग बारने शामिल हैं। राष्ट्रपति चुनाव को लेकर भी यह सांसद उद्धव ठाकरे के फैसले के खिलाफ जा सकते हैं। ऐसे में एनडीए उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू को इन सांसदों का समर्थन मिल सकता है। आपको बता दें कि फिलहाल शिवसेना से बगावत करने के बाद एकनाथ शिंदे की किस्मत चमक उठी है। भाजपा के समर्थन से वह महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री बन चुके हैं। इन सबके बीच खबर यह भी है कि शिवसेना सांसद राहुल शेवाले ने उद्धव ठाकरे को पत्र लिखकर राष्ट्रपति चुनाव में एनडीए उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू का समर्थन करने की बात कही है।
शिवसेना को और मजबूत बनाऊंगा : उद्धव
शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने कहा है कि वह कुछ सदस्यों को लाभ मिलने के बावजूद पार्टी छोड़ता देख ‘आहत’ हैं और जल्द मराठवाड़ा क्षेत्र के हिंगोली का दौरा करेंगे। शिवसेना नेताओं ने मंगलवार को यह जानकारी दी। उद्धव की यह प्रतिक्रिया हिंगोली जिले के एक शिवसेना विधायक संतोष बांगर के महाराष्ट्र विधानसभा में विश्वास मत पर मतदान से कुछ देर पहले एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाले बागी गुट में शामिल होने के एक दिन बाद आई है। दिलचस्प बात यह है कि हिंगोली जिले के कलामनुरी से विधायक बांगर को हाल ही में विद्रोह के शुरुआती दिनों के वीडियो में रोते हुए बागियों से शिवसेना में लौटने की अपील करते हुए देखा गया था।