By अभिनय आकाश | Jul 06, 2021
कोरोना काल में अरिविंद केजरीवाल सरकार की तरफ से स्वास्थ्य संबंधी सुविधाओं की जानकारी के नाम पर विज्ञापन के जरिये करोड़ो रुपये खर्च करने की बात सामने आई थी। लेकिन महाराष्ट्र की उद्धव ठाकरे सरकार भी इस मामले में केजरीवाल से पीछे नहीं है। उद्धव ठाकरे ने भी अब तक अपने प्रचार पर 155 करोड़ रुपए खर्च कर दिए हैं। बीते 16 महीने में महज प्रचार पर 155 करोड़ रुपए यानी हर महीने 9.6 करोड़ रुपये खर्च किए हैं, जिनमें 5.99 करोड़ रुपये सोशल मीडिया पर छवि चमकाने में दिए गए हैं। राज्य के सूचना व जनसंपर्क महानिदेशालय की तरफ से ये सारी जानकारी एक जनहित याचिका के जवाब में दी गई है।
2020 में पब्लिसिटी कैंपेन पर 104 करोड़ खर्च
आरटीआई एक्टिविस्ट अनिल गलगली ने इस सरकार के गठन के बाद से अब तक प्रचार प्रसार पर हुए खर्च का पूरा ब्यौरा मांगा था। 2019 में इस सरकार ने 20 करोड़ 31 लाख रुपये इस मद में खर्च किए थे। साथ ही टीकाकरण अभियान के प्रचार पर सरकार ने 19 करोड़ 92 लाख रुपये खर्च किए हैं। वहीं 2020 में उद्धव सरकार ने 26 विभागों के पब्लिसिटी कैंपेन पर 104 करोड़ 55 लाख रुपये खर्च किए।
फडणवीस ने बताया दुर्भाग्यपूर्ण
उद्धव सरकार के द्वारा प्रचार प्रसार में 155 करोड़ रुपये खर्च करने वाली खबर पर महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि राज्य में कोरोना कालखंड में सभी तरह के विकास कार्य ठप पड़े हुए हैं। इस संकटकाल में भी राज्य सरकार अपने प्रचार-प्रसार पर खर्च करने से बाज नहीं आ रही है। यह दुर्भाग्यपूर्ण है।