By रितिका कमठान | Apr 07, 2025
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के फैसले के बाद भारतीय शेयर बाजार भी टैरिफ की आग में जल रहा है। बीते एक सप्ताह से निवेशकों में भारी घबराहट हो गई है। कई निवेशक लगातार अपने शेयर बेचने को मजबूर है ताकि आने वाले समय में बाजार में होने वाली उथल पुथल से बच सकें।
जानकारी के मुताबिक बाजार में बिकवाली काफी तेज रही की सुबह 11 बजे तक 734 शेयर अपने 52 सप्ताह के निचले स्तर पर पहुंच गए थे। इस दौरान 700 से अधिक शेयरों में छह सेंसेक्स के शेयर थे, जो कि टीसीएस, टाइटन, टाटा मोटर्स, रिलायंस, लार्सन एंड टर्बो, इंफोसिस थे। इस दौरान टाटा मोटर्स के शेयर सबसे अधिक नीचे गिरे है। ये 12 फीसदी नीचे गिर गए है। बीते 52 सप्ताह सप्ताह का ये सबसे निचला स्तर है। इसके साथ ही शेयर का दाम 542.55 रुपये पर पहुंच गया है।
इंफोसिस के शेयर 10 फीसदी गिरकर 1,307.10 पर पहुंच गए है, जो दो सप्ताह का निचला स्तर है। लार्सन एंड टर्बो के शेयर नो फीसदी गिरे है और एक साल में 2,967.65 पर इसकी कीमत हो गई है। टीसीएस के शेयर सात फीसदी नीचे गिए है। बीएसई पर शेयर की कीमत बीते 52 सप्ताह के दौरान सबसे नीचे के स्तर पर पहुंची है। शेयर प्राइस अब 3,060.25 रुपये हो गया है।
रिलायंस इंडस्ट्रीज के शेयर में 7% से अधिक की गिरावट आई और यह 52 सप्ताह के निचले स्तर 1,115.55 रुपये पर पहुंच गया। यह गिरावट बाजार में व्यापक बिकवाली के कारण आई, जिससे कंपनी के शेयरधारकों को बड़ा नुकसान हुआ। टाइटन कंपनी के शेयर में चार प्रतिशत से अधिक की गिरावट आई और यह 52 सप्ताह के निचले स्तर 2,947.55 रुपये पर पहुंच गया। सात अप्रैल का दिन भारतीय शेयर बाजार के लिए ब्लैक मंडे साबित हुआ है। सेंसेक्स में 10 फीसीद की गिरावट आई है।