काबुल। अफगान तालिबान ने वसंत के दौरान किए जाने वाले अपने हमलों को शुरू करने की आज घोषणा कर दी है। तालिबान की यह घोषणा एक ऐसे समय पर आई है, जब सुरक्षा बल एक सप्ताह पहले सैन्य अड्डे पर हुए घातक हमले से उबरने की कोशिश कर रहे हैं। उग्रवादियों की ओर से जारी बयान में कहा गया कि मई 2016 में अमेरिकी ड्रोन हमले में मारे गए संगठन के पूर्व नेता के नाम पर रखे गए ‘ऑपरेशन मंसूरी’ के तहत विदेशी बलों को ‘‘पारंपरिक हमलों, गुरिल्ला युद्धों, भेदियों के हमलों आदि से’’ निशाना बनाया जाएगा।
इसमें कहा गया, ‘‘दुश्मन को तब तक निशाना बनाया जाएगा, प्रताड़ित किया जाएगा और मारा या बंधक बनाया जाएगा, जब तक वे अपनी अंतिम चौकी को भी छोड़कर नहीं भाग जाते।’’ वार्षिक वसंतकालीन हमले आम तौर पर ‘युद्ध के मौसम’ की शुरूआत का प्रतीक होते हैं। हालांकि इन सर्दियों में भी तालिबान सरकारी बलों से लड़ता रहा। उसने पिछले सप्ताह उत्तर में स्थित शहर मजार-ए-शरीफ के बाहर सैन्य अड्डे पर हमला बोल दिया था। पिछले शुक्रवार को हुए हमले में आतंकी अफगान सेना की वर्दी पहनकर और अंदर जाने के वैध पास लेकर सैन्य प्रतिष्ठान में घुसे थे। वहां इन्होंने कम से कम 135 युवा रंगरूटों को मार डाला था। ऐसा माना जा रहा है कि यह अफगान सेना पर तालिबान का सबसे घातक हमला था।