भोपाल। आत्मनिर्भर मध्य प्रदेश के लिए अधिकारियों और कर्मचारियों से सुझाव आमंत्रित करने, उनके संकलन, परीक्षण और क्रियान्वयन के उद्देश्य से बनाए गए मध्य प्रदेश इनोवेशेन चैलेंज पोर्टल का शनिवार को शुभारंभ किया। मुख्यमंत्री चौहान ने इस दौरान कहा कि मध्य प्रदेश में कोविड-19 की बड़ी समस्या को जहाँ आम नागरिकों ने चुनौती के रूप में स्वीकार कर इसके नियंत्रण में भागीदारी की वहीं सभी अधिकारियों और कर्मचारियों ने भी अपनी पूर्ण क्षमता से जिम्मेदारी का निर्वहन करते हुए इस महामारी को नियंत्रित करने में महत्वपूर्ण योगदान दिया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोविड-19 एक चुनौती भी थी और एक अवसर भी। प्रधानमंत्री मोदी ने आत्मनिर्भर भारत बनाने का मंत्र दिया है। इसके लिए आत्मनिर्भर मध्य प्रदेश भी बहुत आवश्यक है। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश को आत्मनिर्भर बनाने के लिए उपयोगी सुझाव मिलेंगे तो उससे प्रदेश की दशा बदलने में बहुत सहयोग मिलेगा। लोकल को वोकल बनाने का मंत्र हो अथवा कुटीर उद्योगों और एमएसएमई सेक्टर को मजबूत बनाने का सुझाव, विभिन्न उपायों से आत्मनिर्भरता को प्राप्त करना आवश्यक है। मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि मध्य प्रदेश में किसानों के FPO के गठन की बात हो या स्व-सहायता समूहों को सशक्त बनाने की, अब तक बेहतर कार्य हुआ है। वही मुख्यमंत्री ने कोरोना नियंत्रण के लिए प्रतिभा का उपयोग करते हुए नियंत्रण के ठोस प्रयासों से लगातार मिल रही सफलता के लिए अधिकारियों-कर्मचारियों को बधाई दी।
प्रदेश के मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस ने मध्य प्रदेश इनोवेशन चैलेंज पोर्टल के स्वरूप और उपयोगिता की जानकारी देते हुए कहा कि मध्यप्रदेश में उत्कृष्ट विचारों और नवाचारों की चर्चा विश्व स्तर पर हुई है। इस पोर्टल के माध्यम से नवीन सुझावों के साथ ही वर्तमान शासकीय प्रणाली में आम लोगों के कल्याण की दृष्टि से क्या परिवर्तन आवश्यक हैं, इस संबंध में भी सुझाव प्राप्त होंगे। इन सुझावों के परीक्षण के बाद चयनित सुझावों पर अमल की कार्यवाही की जायेगी। इस वर्ष मंथन कार्यशाला का एजेण्डा भी इस पोर्टल पर प्राप्त सुझावों के अनुरूप निर्धारित किया जायेगा।