By नीरज कुमार दुबे | Nov 06, 2024
हरियाणा चुनावों में हार की भविष्यवाणी को भाजपा ने अपनी मेहनत के चलते जीत के जयघोष में बदल दिया था। अब हरियाणा की जीत से उत्साहित भाजपा महाराष्ट्र और झारखंड में भी जीत का नया रिकॉर्ड बनाना चाहती है। इसलिए चुनाव प्रबंधन में कोई कमी नहीं छोड़ी जा रही है। पूरे चुनाव अभियान की कमान एक तरह से खुद केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने संभाली हुई है। कहीं किसी प्रकार की कोई चूक नहीं हो जाये इस बात का खास ख्याल रखा जा रहा है। अमित शाह ने भाजपा नेताओं को तो चुनावों की दृष्टि से जिम्मेदारियां बांट ही रखी हैं साथ ही वह एनडीए के नेताओं के साथ समन्वय भी कर रहे हैं। महाराष्ट्र में एनडीए के बीच सीट बंटवारे का अंतिम फैसला अमित शाह ने ही किया था। झारखंड में भी पार्टी के चुनावी मुद्दों को अमित शाह ही तय कर रहे हैं।
इसी कड़ी में चुनावों में एनडीए नेताओं के बेहतर समन्वय के लिए केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह और भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष जेपी नड्डा ने मंगलवार को कई केंद्रीय मंत्रियों के साथ पार्टी मुख्यालय में एक बैठक की, जिसमें राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) के घटक दलों के कुछ प्रमुख नेता भी शामिल हुए। यह बैठक ऐसे समय में हुई है जब महाराष्ट्र और झारखंड में विधानसभा चुनावों के लिए प्रचार अभियान जोर-शोर से जारी है। इसी बीच कुछ राज्यों में लोकसभा और विधानसभा के उपचुनाव भी होने हैं। इस बैठक में केंद्रीय मंत्री निर्मला सीतारमण, पीयूष गोयल, सीआर पाटिल और धर्मेन्द्र प्रधान के अलावा चिराग पासवान, जीतन राम मांझी, राष्ट्रीय लोक दल के जयंत चौधरी और शिवसेना का प्रतिनिधित्व करने वाले प्रतापराव जाधव शामिल थे। बैठक के एजेंडे पर हालांकि कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है, लेकिन सूत्रों ने कहा कि इसका उद्देश्य विधानसभा चुनाव के मद्देनजर 13 और 20 नवंबर को होने वाले मतदान के लिए समन्वय और तालमेल बनाना है।
बताया जा रहा है कि चुनाव प्रचार अभियान के दौरान भाजपा अपने छोटे-बड़े सभी सहयोगियों को साथ लेकर यह संदेश देने का प्रयास कर रही है वह पूरी तरह एकजुट है। बताया जा रहा है कि इन चुनावों में केंद्रीय मंत्री राजग के विकास के एजेंडे को प्रमुखता से रेखांकित करेंगे और साथ ही जनता को अपने विभागों द्वारा किए गए महत्वपूर्ण कार्यों से अवगत कराएंगे। बताया जा रहा है कि एनडीए के उम्मीदवारों के चुनाव प्रचार में केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान, जीतन राम मांझी और जयंत चौधरी की कई जनसभाएं कराई जाएंगी। हम आपको बता दें कि महाराष्ट्र और झारखंड में राजग का मुकाबला 'इंडिया' गठबंधन में शामिल दलों से है। महाराष्ट्र में राजग की चुनौती सत्ता बरकरार रखने की है, वहीं झारखंड में वह झारखंड मुक्ति मोर्चा के नेतृत्व वाली सरकार को सत्ता से बाहर करने के लिए प्रयासरत है।
हम आपको यह भी बता दें कि एनडीए नेताओं के साथ बैठक के बाद भाजपा मुख्यालय में एक और बैठक हुई जिसमें भाजपा कोटे के केंद्रीय मंत्री और पार्टी के वरिष्ठ पदाधिकारी शामिल हुए। इसके बारे में बताया गया है कि यह संगठन की आंतरिक तैयारियों पर चर्चा के लिए आयोजित की गयी थी। दरअसल भाजपा नेतृत्व परिवर्तन की तैयारी कर रही है, जिसमें नए पार्टी अध्यक्ष की चयन प्रक्रिया भी शामिल है। अगले कुछ दिनों में भाजपा को अपना नया अध्यक्ष मिलने की संभावना है। इसके अलावा, दिल्ली विधानसभा चुनाव की तैयारियों की समीक्षा के लिए एक अलग बैठक भी हुई, जो महाराष्ट्र और झारखंड से परे राज्य चुनावों के लिए भाजपा की रणनीतिक योजना का संकेत देती है। हम आपको बता दें कि बैजयंत पांडा दिल्ली के चुनाव प्रभारी और अतुल गर्ग दिल्ली विधानसभा चुनाव के सह-प्रभारी हैं। दिल्ली में अगले साल की शुरुआत में चुनाव होने की संभावना है। जबकि महाराष्ट्र में एक चरण में 20 नवंबर को जबकि झारखंड में 13 और 20 नवंबर को दो चरणों में मतदान होना है। दोनों राज्यों में 23 नवंबर को मतों की गिनती होगी।