मां वागदेवी, राजा भोज ने बनवायी थी ये विशेष शाला

By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Feb 10, 2019

 भोपाल। इस मंदिर के बारे में कहा जाता है कि इसे राजा भोज परमार नेबनवाया था। वे कला और विद्या के प्रेमी थे। जिसकी वजह से ही उन्होंने वाग देवी जो कि माता सरस्वती का ही रुप है बनवाने का निर्णय लिया। इस स्थान को अब भोज शाला के नाम से जाना जाता है, मां सरस्वती के पूजनमुहूर्त पर यहां भव्य पूजा का आयोजन किया जाता है। मंदिर की प्रसिद्धि औरऐतिहासिक मान्यता इतनी है कि यहां दूर-दूर से भक्त माता के दर्शनों केलिए आते हैं। यहां स्थान मध्यप्रदेश के धार जिले में स्थित है।


करते थे विद्या का ज्ञान अर्जित

मंदिर के बारे में बताया जाता है कि राजा भोज मां सरस्वती के भक्त थे,जिसकी वजह से ही उन्होंने यहां एक पाठशाला का निर्माण कराया और यहां मांवाग देवी की प्रतिमा की स्थापना की, बताया जाता है कि यहां बच्चे ज्ञानअर्जित करने भी आया करते थे।


बाद में आया बड़ा बदलाव

यहां समय 1024 ई का बताया जाता है, जबकि 1305 ई में अलाउद्दीन खिलजी नेइसे तोड़ दिया। वहीं दिलावर खां गौरी ने 1401 में यहां एक मस्जिद कानिर्माण करा दिया। बांकी बचे हिस्से पर महमूद शाह खिलजी ने मस्जिद बनवादी। समय के साथ यहां विवाद की स्थिति बनने लगी और अंग्रेजी शासनकाल मेंयहां अक्सर ही विवाद के हालात देखने मिले। जिसके बाद धार रियासत ने इसेसंरक्षित स्मारक घोषित कर दिया। इसकी देखरेख में पुरातत्व विभाग की भीअहम भूमिका है।

 

 

इस दिन है पूजा की अनुमति

भोजशाला सप्ताह के पांच दिन पर्यटकों के लिए खुली रहती है वहीं मंगलवार ववसंत पंचमी को सूर्योदय से सूर्यास्त तक हिंदू पूजा कर सकते जबकि प्रतिशुक्रवार जुमे की नमाज के लिए यहां मुस्लिम समुदाय को अनुमति प्राप्त है।विशेष अवसरों पर यहां विशेष व्यवस्था व इंतजाम किए जाते हैं।

 

देवी की पूजा विशेष महत्व

कहा जाता है कि वसंत पंचमी पर यहां पूजन का विशेष महत्व है जो भी भक्तश्रद्धाभाव से यहां देवी की आराधना करने आता है उसकी मनोकामना अवश्य हीपूर्ण होती है। मां वाग देवी की कृपा से उसे विद्या व संगीत का वरदानप्राप्त होता है। यहां देवी को पीले फूल चढ़ाने का भी विशेष महत्व है।


नयनाभिरामी विशेष शोभा यात्रा

यहां वसंत पंचमी पर शोभा यात्रा निकाली जाती है। इस दिन सूर्योदय से हीमां की पूजा प्रारंभ हो जाती है जो कि सूर्यास्त तक विधि-विधान से पूर्णकी जाती है। बड़ी संख्या में लोेग मां के दर्शनों के लिए आते है। भोजशालाको सजाया जाता है। इस दिन यहां का भव्य स्वरुप देखते ही बनता है।शोभायात्रा का दृश्य भी नयनाभिरामी होता है। मां वाग देवी का सुंदरस्वरुप भी इस दिन देखते ही बनता है।

 

प्रमुख खबरें

मैं इस्तीफा दे दूं...अमित शाह ने LIVE आते ही पलट दिया खेल! राज्यसभा में दिए गए बयान का Unedited Video यहां देखें

Monkeypox: केरल में मंकीपॉक्स के मामले फिर आए सामने, UAE से लौटे दो व्यक्ति संक्रमित

बीजद कार्यकर्ता भाजपा की जनविरोधी नीतियों के खिलाफ आवाज उठाएं : Naveen Patnaik

आंबेडकर मुद्दे पर कांग्रेस को घेरने के लिए Stalin ने मोदी एवं भाजपा पर हमला किया