By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Aug 09, 2019
इस्लामाबाद। जम्मू कश्मीर का विशेष दर्जा हटाये जाने के फैसले के बाद पाकिस्तान ने भारत के साथ हर तरह के सांस्कृतिक आदान-प्रदान को बंद करने का फैसला किया है, जिसमें दोनों देशों के मनोरंजन उद्योग के बीच हर तरह के संयुक्त उपक्रम भी शामिल हैं। शुक्रवार को मीडिया में आयी खबर में यह जानकारी दी गयी। ‘डॉन’ अखबार की खबर के अनुसार पाकिस्तान के सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने बृहस्पतिवार को ‘भारत को ना कहें’ के राष्ट्रीय नारे का आगाज किया।
इसे भी पढ़ें: अनुच्छेद 370: भारत-पाक तनाव पर चर्चा करने के लिए कुरैशी आनन-फानन में चीन रवाना
सूचना एवं प्रसारण पर प्रधानमंत्री की विशेष सहायक फिरदौस आशिक एवान ने कहा, ‘‘हर तरह की भारतीय सामग्री को रोक दिया गया है और पेमरा (पाकिस्तान इलेक्ट्रॉनिक मीडिया रेगुलेटरी अथॉरिटी) को भारतीय डीटीएच उपकरणों की बिक्री के खिलाफ कार्रवाई करने के साथ निगरानी बरतने का निर्देश दिया गया है।’’ इससे पहले इस सप्ताह भारत ने जम्मू कश्मीर को विशेष दिये जाने वाले अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधानों को रद्द करते हुए राज्य को दो केंद्र शासित क्षेत्रों जम्मू कश्मीर और लद्दाख में विभाजित कर दिया था।
इसे भी पढ़ें: उम्मीद है भारत सरकार के कदम से जम्मू कश्मीर के लोगों का फायदा होगा: करजई
पाकिस्तान ने भारत की इस कार्रवाई को ‘‘एकपक्षीय और अवैध’’ बताया और कहा कि वह इस मुद्दे को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में ले जायेगा। एवान ने कहा कि राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद ने एक संगठन की स्थापना का फैसला किया था और पाकिस्तान को तमाम मोर्चों से ‘‘हिंदुत्व की विचारधारा’’ के खिलाफ जंग लड़नी होगी। पाकिस्तान सरकार ने देश के सिनेमाघरों में भारतीय फिल्मों के प्रदर्शन पर भी रोक लगा दी है। एवान ने ट्वीट किया, ‘‘पाकिस्तान के किसी सिनेमाघर में कोई भारतीय फिल्म नहीं दिखायी जायेगी। पाकिस्तान में हर तरह की भारतीय सामग्री वाले नाटक और फिल्मों पर पूरी तरह से प्रतिबंध होगा।’’