नई दिल्ली। (इंडिया साइंस वायर): छात्रों में विज्ञान के प्रति रुचि पैदा करने के उद्देश्य से आयोजित प्रतियोगिता ‘विद्यार्थी विज्ञान मंथन’ नौ भाषाओं में आयोजित की जा रही है। हिंदी एवं अंग्रेजी के अलावा, यह प्रतियोगिता अब मराठी, तमिल, तेलुगू, बांग्ला, पंजाबी, मराठी, उड़िया और मलयालम भाषाओं में भी आयोजित की जाएगी।
‘विद्यार्थी विज्ञान मंथन’, छठी से ग्यारहवीं कक्षा के विद्यार्थियों के लिए राष्ट्रीय स्तरीय विज्ञान प्रतिभा खोज प्रतियोगिता है। इसका उद्देश्य विज्ञान से जुड़े विषयों में रुचि रखने वाली छात्र प्रतिभाओं की पहचान तथा शिक्षित करना है। इस प्रतियोगिता का आयोजन विज्ञान भारती, विज्ञान प्रसार एवं राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् (एनसीईआरटी) द्वारा किया जा रहा है।
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प्रतियोगिता की राष्ट्रीय सह-संयोजक मयूरी दत्त ने बताया कि “पिछले वर्ष ‘विद्यार्थी विज्ञान मंथन’ का आयोजन सिर्फ हिंदी और अंग्रेजी में किया गया था। इस वर्ष सात अन्य भाषाओं को भी इस प्रतियोगिता में जोड़ा गया है। ज्यादातर प्रतिभा खोज परीक्षाएं हिंदी या अंग्रेजी में ही आयोजित की जाती हैं, जिससे अन्य भाषाओं के छात्र ऐसी परीक्षाओं में शामिल नहीं हो पाते। भाषा वैज्ञानिक दृष्टिकोण के विकास में बाधा नहीं होनी चाहिए। इसीलिए, हमारी कोशिश विभिन्न भारतीय भाषाओं को इस परीक्षा में शामिल करने की है।”
प्रतियोगिता में चयनित छात्रों को बहुस्तरीय परीक्षा एवं मूल्यांकन से गुजरना पड़ता है। परीक्षा में सफल छात्रों को प्रसिद्ध वैज्ञानिकों से मिलने और भारत की प्रमुख वैज्ञानिक प्रयोगशालाओं में भ्रमण का अवसर मिलता है। यह एक ऑनलाइन प्रतियोगिता है, जिसमें छात्रों को कंप्यूटर, लैपटॉप, टैबलेट या फिर स्मार्टफोन की मदद से परीक्षा देनी होती है। परीक्षा के लिए छात्रों को अपने स्कूलों के माध्यम से ‘विद्यार्थी विज्ञान मंथन’ की वेबसाइट www.vvm.org.in पर पंजीकरण करना होगा। इस परीक्षा के लिए 15 सितंबर तक पंजीकृत कर सकते हैं। जबकि, 30 सितंबर तक विलंब शुल्क के साथ आवेदन किया जा सकेगा।
यह परीक्षा चार स्तरों- स्कूल, जिला, राज्य और फिर राष्ट्रीय स्तर पर आयोजित की जाएगी। स्कूली स्तर पर ऑनलाइन परीक्षा का आयोजन इस वर्ष नवंबर में पूरे देश में एक साथ किया जाएगा। प्रत्येक स्कूल के स्तर पर विभिन्न कक्षाओं से हर कक्षा के शीर्ष तीन छात्र विजेता होंगे। इसी तरह, जिला स्तर पर जिले के स्कूलों से प्राप्त प्रविष्टियों का मूल्यांकन करके प्रत्येक कक्षा के शीर्ष तीन छात्रों समेत कुल 18 विजेता चुने जाएंगे। स्कूल और जिला स्तर के विद्यार्थियों को मेरिट प्रमाण पत्र प्रदान किया जाएगा, जिसे ‘विद्यार्थी विज्ञान मंथन’ की वेबसाइट पर अपने प्रोफाइल में लॉगिन करके छात्रों को स्वयं डाउनलोड करना होगा।
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हर राज्य से प्रत्येक कक्षा वर्ग के शीर्ष 20 छात्रों को राज्य स्तरीय शिविर में शामिल होने का अवसर मिलेगा। राज्य शिविर में शामिल प्रत्येक कक्षा से शीर्ष तीन छात्रों समेत कुल 18 छात्र विजेता चुने जाएंगे। राज्य शिविर से हर कक्षा से शीर्ष दो विजेताओं को राष्ट्रीय शिविर में शामिल होने का मौका मिलेगा।
राष्ट्रीय स्तर पर हर कक्षा से तीन विद्यार्थियों समेत कुल 18 छात्रों को पुरस्कार दिया जाएगा। इस प्रतियोगिता में देश के विभिन्न राज्यों को क्षेत्रीय समूहों में भी बांटा गया है। अलग-अलग क्षेत्रीय स्तर पर भी 18 छात्र इस प्रतियोगिता के अंतर्गत विजेता चुने जाएंगे। इन विजेतओं को शिविर में भागीदारी का प्रमाण पत्र, स्मृति चिह्न और नकद पुरस्कार प्रदान किया जाएगा। शिविरों में छात्रों का प्रस्तुति कौशल, नेतृत्व क्षमता, रचनात्मक सोच और नवाचारी विचारों का मूल्यांकन और संवर्द्धन किया जाएगा।
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शुरुआती स्तर पर प्रतियोगिता के पाठ्यक्रम में 50 प्रतिशत हिस्सा छात्रों को उनकी कक्षाओं में पढ़ाए जाने वाले एनसीईआरटी आधारित विज्ञान एवं गणित का होगा। विज्ञान के क्षेत्र में भारत के योगदान पर आधारित 20 प्रतिशत पाठ्यक्रम विज्ञान भारती द्वारा खासतौर पर तैयार पठनीय सामग्री पर आधारित होगा। पाठ्यक्रम का 20 प्रतिशत हिस्सा जगदीशचंद्र बोस और एडावलेठ कक्कट जानकी अम्माल की जीवनी और 10 प्रतिशत हिस्सा तर्कशक्ति पर आधारित होगा। अध्ययन सामग्री ‘विद्यार्थी विज्ञान मंथन’ की वेबसाइट से डाउनलोड की जा सकती है।
(इंडिया साइंस वायर)