प्रदेश में नयी रेत नीति में जिलेवार रेत खदान के समूह बनाकर ई-टेण्डर प्रक्रिया लागू कर दी गई है। इस व्यवस्था से रेत खनन वाले 43 जिलों में से 42 जिलों से राज्य शासन को 01 हजार 400 करोड़ रूपये का सालाना राजस्व अर्जित हो सकेगा। प्रदेश की जीवन - रेखा नर्मदा नदी में रेत खनिज का उत्खनन मशीनों से पूरी तरह प्रतिबंधित कर दिया गया है। अन्य नदियों में रेत खनन में मशीनों का उपयोग करने की अनुमति पर्यावरण स्वीकृति के आधार पर दिये जाने का प्रावधान नयी रेत नीति में किया गया है।विभाग की गतिविधियों को ऑनलाईन करने के लिए वेब पोर्टल 'ई-खनिज' बनाया गया है। इस पोर्टल को परिवहन विभाग से लिंक किया गया है। खनिज परिवहन के लिए पट्टेदार / ट्रांसपोर्टर द्वारा वाहन का रजिस्ट्रेशन कराना अनिवार्य कर दिया गया है। खनिज प्रशासन के और अधिक सुदृढ़ीकरण के उद्देश्य से जिला स्तर पर 49 जिलों में खनिज भवन का निर्माण पूर्णं हो चुका है। खनिज नमूनों के रासायनिक विश्लेषण के लिए क्षेत्रीय कार्यालय, जबलपुर में स्थापित प्रयोगशाला में आधुनिक उपकरण भी उपलब्ध कराये गये हैं।