Lockdown के 15वें दिन Modi ने कहा- यह सामाजिक आपातकाल जैसी स्थिति है

By नीरज कुमार दुबे | Apr 08, 2020

देश में स्थिति को ‘सामाजिक आपातकाल’ जैसी बताते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को स्पष्ट किया कि कोरोना वायरस के कारण लागू देशव्यापी लॉकडाउन 14 अप्रैल को एक बार में नहीं हटाया जायेगा। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि उनकी सरकार की प्राथमिकता हर व्यक्ति के जीवन को बचाने की है। प्रधानमंत्री ने वीडियो कांफ्रेसिंग के जरिये लोकसभा एवं राज्यसभा में विपक्ष समेत विभिन्न राजनीतिक दलों के नेताओं के साथ कोरोना वायरस के कारण देश में उत्पन्न स्थिति और सरकार द्वारा इसे तेजी से फैलने से रोकने के प्रयासों पर चर्चा की। इस दौरान प्रधानमंत्री मोदी कहा कि देश कोविड-19 के कारण गंभीर आर्थिक चुनौतियों का सामना कर रहा है और सरकार उनसे पार पाने के लिए प्रतिबद्ध है। भारत में कोराना वायरस के प्रसार को रोकने के लिए 25 मार्च से 21 दिनों का देशव्यापी लॉकडाउन लागू है और इसमें केवल आवश्यक सेवाओं को छूट दी गई है। स्वास्थ्य मंत्रालय के द्वारा बुधवार को जारी आंकड़ों के अनुसार, देश में कोविड-19 के कारण अब तक 149 लोगों की मौत हुई है जबकि 5194 लोग संक्रमित हैं। देशव्यापी लॉकडाउन का यह तीसरा सप्ताह है। प्रधानमंत्री के साथ हुई बैठक के बाद बीजद नेता पिनाकी मिश्रा ने कहा कि नरेंद्र मोदी ने स्पष्ट किया कि 14 अप्रैल को एक साथ लॉकडाउन नहीं हटेगा। मिश्रा ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने हमसे कहा कि कोरोना वायरस से पहले और कोरोना वायरस के बाद का जीवन एक जैसा नहीं होगा।

 

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इस बैठक में लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी, राज्यसभा में विपक्ष के नेता गुलाम नबी आजाद, राकांपा के शरद पवार, शिवसेना के संजय राउत के अलावा तृणमूल कांग्रेस के सुदीप बंदोपाध्याय, बसपा के सतीश चंद्र मिश्रा, द्रमुक के टी आर बालू, बीजद के पिनाकी मिश्रा, वाईएसआर के मिथुन रेड्डी, सपा के राम गोपाल यादव, जदयू के राजीव रंजन सिंह, लोजपा के चिराग पासवान, अकाली दल के सुखबीर सिंह बादल सहित कई अन्य दलों के नेताओं ने हिस्सा लिया। यह बैठक ऐसे समय में हुई है जब सरकार ने संकेत दिया है कि वह वायरस को तेजी से फैलने से रोकने के लिये कई राज्यों एवं विशेषज्ञों के देशव्यापी लॉकडाउन को 14 अप्रैल के बाद बढ़ाने की राय पर विचार कर सकती है।


मौलाना साद का पता लगा लिया गया


दिल्ली पुलिस ने तबलीगी जमात के नेता मौलाना साद कंधावली का पता लगा लिया है। निजामुद्दीन इलाके में पिछले महीने एक धार्मिक कार्यक्रम का आयोजन करने को लेकर उनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज होने के बाद से वह फरार था। पुलिस सूत्रों ने बुधवार को यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि दक्षिण पूर्वी दिल्ली के जाकिर नगर में मौलाना के मौजूद होने का पता चला। हालांकि, इससे पहले मौलाना के वकील तौसीफ खान ने कहा था कि साद स्व पृथक वास में हैं और 14 दिनों की अवधि खत्म होने के बाद वह जांच में शामिल होंगे। साद के स्व पृथक वास की अवधि अगले हफ्ते खत्म होने की उम्मीद है। दिल्ली पुलिस की अपराध शाखा ने निजामुद्दीन के थाना प्रभारी द्वारा दी गई एक शिकायत पर 31 मार्च को मौलवी सहित सात लोगों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की थी।


नोएडा में 22 हॉटस्पॉट चिह्नित, सभी 15 अप्रैल तक सील


राष्ट्रीय राजधानी से सटे उत्तर प्रदेश के जनपद गौतम बुद्ध नगर में कोरोना वायरस संक्रमण के बढ़ते मामलों के मद्देनजर बुधवार को नोएडा में संक्रमण से अत्यधिक प्रभावित 22 जगहों को चिह्नित कर उन्हें 15 अप्रैल तक के लिए सील कर दिया गया है। जिला प्रशासन ने इन 22 जगहों को हॉट स्पॉट घोषित करते हुए, आवागमन पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया है। जिलाधिकारी सुहास एल.वाई. ने बताया, ‘‘उत्तर प्रदेश में कोविड-19 के सबसे ज्यादा मरीज गौतम बुध नगर जिले में मिले हैं। बुधवार को भी यहां 2 मरीज मिले हैं।’’ उन्होंने बताया कि कोरोना वायरस को रोकने के लिए उत्तर प्रदेश शासन द्वारा उठाए जा रहे सख्त कदम के तहत जनपद गौतम बुध नगर में लॉकडाउन को और सख्त किया गया है। उन्होंने बताया, ‘‘जनपद के 22 जगहों को हॉटस्पॉट के रूप में चिह्नित किया गया है। गौतम बुध नगर को 12 कलस्टर में बांटते हुए इन 22 जगहों को सील किया जा रहा है।’’


उच्चतम न्यायालय का निर्देश


कोविड-19 महामारी के खिलाफ जंग में डॉक्टरों और मेडिकल स्टाफ को ‘देश की रक्षा करने वाली अग्रिम पंक्ति’ बताते हुये उच्चतम न्यायालय ने बुधवार को केन्द्र को निर्देश दिया कि महामारी से ग्रस्त मरीजों का इलाज कर रहे चिकित्सकों और स्वास्थ्य कर्मचारियों के लिये उचित व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण (पीपीई) सुनिश्चित किया जाये। न्यायमूर्ति अशोक भूषण और न्यायमूर्ति एस रवीन्द्र भट की पीठ ने इस संबंध में जनहित याचिकाओं की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये सुनवाई के बाद केन्द्र को अनेक निर्देश दिये। पीठ ने अंतरिम निर्देश पारित करते हुये चिकित्सकों तथा स्वास्थ्यकर्मियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने की हिदायत देते हुये उन पर हो रहे हमलों को लेकर गहरी चिंता व्यक्त की। पीठ ने केन्द्र, सभी राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों को निर्देश दिया कि अस्पतालों और संदिग्ध अथवा इस संक्रमण की पुष्टि वाले मरीजों को अलग रखी जाने वाली जगहों पर स्वास्थ्यकर्मियों को पुलिस की सुरक्षा प्रदान की जाये।

 

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सीधे एफसीआई से अनाज खरीदने की अनुमति


खाद्य मंत्रालय ने बुधवार को कहा कि गैर-सरकरी संगठनों (एनजीओ) और परमार्थ संस्थान अब गेहूं और चावल सीधे भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) से खरीद सकते हैं और उन्हें उसके लिये ई-नीलामी की प्रक्रिया में जाने की जरूरत नहीं है। मंत्रालय ने बयान में कहा कि ये संगठन खुला बाजार बिक्री योजना (ओएमएसएस) के तहत पूर्व निर्धारित आरक्षित मूल्य पर एफसीआई से एक बार में 10 टन तक अनाज खरीद सकते हैं। अबतक केवल राज्य सरकारों और ‘रोलर फ्लोर मिल’ जैसे पंजीकृत थोक उपभोक्ताओं को एफसीआई से ओएमएसएस दरों पर अनाज खरीदने की अनुमति थी।


उद्योग जगत ने की सरकार से बड़े राहत पैकेज की मांग


भारतीय उद्योग जगत ने कोरोना वायरस महामारी के असर से बचाव के लिये केंद्र सरकार से बड़े आर्थिक पैकेज की अपेक्षा की है। उद्योग संगठन सीआईआई ने सरकार को दिये सुझाव में आर्थिक पैकेज की मांग की। इसके तहत सीआईआई ने कहा कि असंगठित क्षेत्र के लोगों को नकद धन हस्तांतरण के जरिये अतिरिक्त मदद दी जानी चाहिये। संगठन ने पूरे उद्योग जगत के लिये परिचालन पूंजी के कर्ज की सीमा बढ़ाने तथा एमएसएमई व संकटग्रस्त क्षेत्रों के लिये 20 प्रतिशत तक की ऋण भुगतान चूक पर सरकारी गारंटी और ऋण पुनर्गठन सुविधा का भी सुझाव दिया है।


घरेलू हिंसा और बच्चों के उत्पीड़न के हजारों फोन कॉल आये


भारत में कोरोना वायरस महामारी के मद्देनजर लागू ‘लॉकडाउन’ के दौरान उत्पीड़न और घरेलू हिंसा से सुरक्षा की मांग करते हुए चाइल्डलाइन इंडिया हेल्पलाइन पर 92,000 से अधिक फोन कॉल आये। ये आंकड़े इस बात के संकेत देते हैं कि मौजूदा परिस्थितयों ने न सिर्फ कई महिलाओं को घरों की चहारदीवारी के अंदर कैद कर दिया है, बल्कि कई सारे बच्चे घरों में अपने उत्पीड़कों के साथ रहने को मजबूर हैं। चाइल्डलाइन इंडिया की उपनिदेशक हरलीन वालिया ने बताया कि ‘चाइल्डलाइन 1098’ पर संकट में फंसे लोगों के 20 मार्च से 31 मार्च के बीच आये कुल 3.07 लाख कॉल में से 30 फीसदी, यानी 92,105 कॉल बच्चों के साथ होने वाले उत्पीड़न और हिंसा के बारे में थे। वालिया के अनुसार राष्ट्रव्यापी लॉकडाइन की घोषणा के बाद शिकायतों की संख्या में 50 प्रतिशत का इजाफा हुआ है।


दुनियाभर में 82726 मरे


कोरोना वायरस से दुनिया भर में मरने वाले लोगों की संख्या बुधवार को 82,726 पर पहुंच गई। एएफपी द्वारा अंतरराष्ट्रीय समयानुसार 11 बजे तैयार की गई तालिका से यह जानकारी मिली है। चीन के वुहान में दिसंबर में इस संक्रमण का पता चलने के बाद से अब तक 192 देशों में संक्रमण के 1,438,290 पुष्ट मामले सामने आए हैं। इनमें से कम से कम 275,500 लोग संक्रमण मुक्त हो चुके हैं। एएफपी के कार्यालय ने राष्ट्रीय प्राधिकारों तथा विश्व स्वास्थ्य संगठन से मिले आंकड़ों के आधार पर तालिका तैयार की है जो कुल संक्रमित लोगों की झलक भर पेश करती है, क्योंकि कई देश केवल गंभीर मामलों में ही जांच कर रहे हैं। दुनियाभर में मंगलवार को जीएमटी समयानुसार 1900 बजे से संक्रमण के 41,107 नए मामले सामने आए हैं और 2,584 लोगों की मौत हुई है। अमेरिका में इस अवधि में सर्वाधिक 890 मौतें हुईं। इसके बाद स्पेन में संक्रमण से 757 मौतें हुईं। इटली में संक्रमण से 17,127 लोगों की मौत हो चुकी है, संक्रमण के यहां 135,586 मामले हैं और 24,392 लोग स्वस्थ्य हो चुके हैं। स्पेन में 14,555 लोगों मौत हो चुकी है और 146,690 लोग कोरोना वायरस से संक्रमित हैं। अमेरिका मौत के आंकड़े में तीसरे नंबर पर पहुंच गया है। यहां संक्रमण के कुल मामले 399,929 हो गए हैं जिनमें से 12,911 लोंगो की मौत हो चुकी है। फ्रांस में 10,328 लोगों की संक्रमण से मौत हो चुकी हैं और 109,069 लोग संक्रमित हैं। इसके बाद ब्रिटेन का स्थान है जहां संक्रमण से 6,159 लोगों की मौत हो चुकी है और संक्रमण के 55,242 मामले हैं। चीन ने अब तक 3,333 लोगों की मौत होने और संक्रमण के 81,802 मामलों की जानकारी दी है। यहां 77,273 लोग संक्रमण से मुक्त हो चुके हैं। मंगलवार को बारबाडोस, बेलीज और यूएस वर्जिन द्वीप ने कोरोना वायरस से पहली मौत होने की जानकारी दी। यूरोप में अब तक संक्रमण के 750,276 मामले आ चुके हैं और 58,627 लोगों की मौत हो चुकी है। अमेरिका और कनाडा में 13,309 मौतें हो चुकी हैं और संक्रमण के 417,740 मामले हैं। एशिया में संक्रमण के 125,215 मामले हैं और 4,395 लोगों की मौत हो चुकी है। पश्चिम एशिया में संक्रमण के 88,158 मामले और 4,234 मौतें हुई हैं। लातिन अमेरिका और कैरेबिया में संक्रमण के 39,297 मामले और 1,570लोगों की मौत हो चुकी है। अफ्रीका में संक्रमण से 537 लोगों की मौत हुई है और वहां संक्रमण के 10,605 मामले हैं।

 

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पुरुष और महिला साथ बाजार नहीं जा सकते !


कोरोना वायरस महामारी के मद्देनजर इटली के उत्तरी हिस्से में स्थित छोटे से शहर कैननिका डी आडा में पुरुष और महिला एक साथ खाने-पीने की चीजों की खरीदारी करने बाजार नहीं जा सकते हैं। शहर के महापौर ने सुपरमार्केट में लोगों की संख्या कम करने और संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए पुरुषों और महिलाओं के साथ बाजार आने पर रोक लगा दी है। इस आदेश के बाद मंगलवार को सुपरमार्केट के सामने कतार में खड़ी महिलाओं को महिला पुलिसकर्मी ने बताया, ‘‘मंगलवार, बृहस्पतिवार और शनिवार को आप खाने-पीने के समान खरीदने के लिए दुकान आ सकती हैं, बाकी दिनों में आपके पति बाहर आकर सामान खरीद सकते हैं। नियम तोड़ने पर 400 यूरो (करीब 33 हजार रुपये)तक का जुर्माना लगेगा।’’


किसी समुदाय या स्थान पर दोषारोपण नहीं किया जाए


सरकार ने कोरोना वायरस संक्रमण फैलने के लिये किसी समुदाय या स्थान पर दोषारोपण नहीं करने का बुधवार को एक परामर्श जारी करते हुए लोगों से ऐसा करने से बचने की अपील की। दक्षिण दिल्ली के निजामुद्दीन इलाके में पिछले महीने हुए तबलीगी जमात के एक धार्मिक कार्यक्रम के बाद कोरोना वायरस संक्रमण के मामलों में तेजी से हुई वृद्धि और देश के विभिन्न हिस्सों में यह महामारी फैलने के लिये खासतौर पर सोशल मीडिया पर मुस्लिम समुदाय के लोगों को जिम्मेदार ठहराये जाने के दृष्टांतों के बाद यह परामर्श जारी किया गया। सोशल मीडिया पर की जा रही इस तरह की टिप्पणियों को रोकने के लिये सरकार द्वारा जारी परामर्श में कहा गया है कि किसी संक्रामक बीमारी के फैलने से उपजी जन स्वास्थ्य संबंधी आपात स्थितियों के कारण पैदा होने वाले भय और चिंता, लोगों और समुदायों के विरुद्ध पूर्वाग्रह तथा सामाजिक अलगाव को बढ़ावा देती है। इस तरह के बर्ताव से आपसी बैर भाव, अराजकता और अनावश्यक सामाजिक बाधायें बढ़ती हैं।


-नीरज कुमार दुबे


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