By अभिनय आकाश | Apr 08, 2025
2008 के जयपुर बम विस्फोट मामलों की सुनवाई कर रही विशेष अदालत ने सभी चार दोषियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। चारों आतंकियों- सरवर आज़मी, सैफुर रहमान, मोहम्मद सैफ और शाहबाज अहमद को अदालत ने आजीवन कारावास की सज़ा सुनाई है। इससे पहले 4 अप्रैल को बम विस्फोट मामलों की विशेष अदालत के न्यायाधीश रमेश कुमार जोशी ने फैसला सुनाते हुए आरोपियों को गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम, विस्फोटक पदार्थ (निषेध) अधिनियम और आईपीसी की धाराओं के तहत दोषी करार दिया था। जयपुर ब्लास्ट मामले में 17 साल बाद फैसला आया है। 13 मई 2008 को जयपुर शहर में 15 मिनट के अंदर सात जगहों पर नौ बम धमाके हुए थे।
2008 जयपुर बम धमाकों का फैसला
चार आरोपियों शाहबाज हुसैन, सरवर आजमी, मोहम्मद सैफ और सैफुर्रहमान पर लाइव बम मामले में फैसला सुनाया गया है। इनमें से दो आरोपी सैफ-उर-रहमान और मोहम्मद सैफ पहले से ही जयपुर सेंट्रल जेल में बंद हैं, जबकि मोहम्मद सरवर आजमी और शाहबाज अहमद जमानत पर बाहर हैं।
जयपुर बम धमाका: 2008 में क्या हुआ था?
13 मई, 2008 को जयपुर में सिलसिलेवार बम धमाके हुए थे, जिसमें माणक चौक खंडा, चांदपोल गेट, बड़ी चौपड़, छोटी चौपड़, त्रिपोलिया गेट, जौहरी बाजार और सांगानेरी गेट पर एक के बाद एक कई बम धमाके हुए थे। इन धमाकों में 71 लोग मारे गए थे और 185 लोग घायल हुए थे। भीड़भाड़ वाले इलाकों में साइकिलों पर बंधे नौ अमोनियम नाइट्रेट बम 25 मिनट के भीतर - शाम 7:20 से 7:45 के बीच - फट गए थे। रामचंद्र मंदिर के पास एक जीवित बम बरामद किया गया, जिसे बम निरोधक दस्ते ने निष्क्रिय कर दिया।