By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Apr 24, 2018
नयी दिल्ली। भारतीय परमाणु ऊर्जा निगम (एनपीसीआईएल) ने उच्चतम न्यायालय से कहा कि कुडनकुलम परमाणु बिजली संयंत्र में अत्याधुनिक सुरक्षा उपाय हैं और इसे इस तरह से डिजाइन किया गया है कि यह भूकंप व ऐसे अन्य खतरों को भी झेल सकता है। निगम की ओर से मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा की अध्यक्षता वाली पीठ के समक्ष यह जानकारी दी गई। पीठ निगम की उस याचिका की सुनवाई कर रही है जिसमें उसने एएफआर इकाई को पूरा करने के लिए और समय मांगा है।
निगम की ओर से अतिरिक्त सोलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने न्यायालय को बताया कि एएफआर सुविधा को पूरा करने की प्रक्रिया चल रही है। वहीं वरिष्ठ वकील प्रशांत भूषण ने एनपीसीआईएल की याचिका का विरोध करते हुए कहा कि ईंधन छड़ें काम से हटाए जाने के बाद भी लंबे समय तक रेडियो सक्रिय रहती हैं। पीठ ने मेहता से काम की प्रगति की जानकारी मांगी तथा मामले पर जुलाई में सुनवाई करना तय किया।