By अंकित सिंह | Sep 12, 2022
वाराणसी के श्रृंगार गौरी-ज्ञानवापी मस्जिद मामले में जिला अदालत में सुनवाई है। कोर्ट की ओर से श्रृंगार गौरी में पूजा के अधिकार की मांग वाली याचिका को योग्य माना गया है। हालांकि, मुस्लिम पक्ष ने कहा था कि मामला सुनवाई योग्य हा नहीं है। ज्ञानवापी श्रंगार गौरी विवाद मामले में फैसला सुनाते हुए ज़िला जज एके विश्वेश की एकल पीठ ने साफ तौर पर कहा कि मामला सुनवाई योग्य है। कोर्ट के फैसले पर उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि बाबा विश्वनाथ जी माँ शृंगार गौरी मंदिर मामले में माननीय न्यायालय के आदेश का स्वागत करता हूँ। सभी लोग फ़ैसले का सम्मान करें। इसके साथ ही उन्होंने एक और ट्वीट में कहा कि करवट लेती मथुरा, काशी!
वहीं, उत्तर प्रदेश के दूसरे उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने कहा कि हम माननीय न्यायालय के निर्णय का सम्मान करते हैं। मेरे पास कई फोन आ रहे हैं सबका कहना है कि माननीय न्यायालय ने बहुत अच्छा निर्णय लिया है। प्रदेश में खुशी की लहर है। प्रदेश में कानून-व्यवस्था की स्थिति को और मजबूत करेंगे। इस मामले पर भाजपा के फायरब्रांड नेता गिरिराज सिंह ने कहा कि हम फैसले का सम्मान करते हैं, हम ज्ञानवापी का भी सम्मान करते हैं। अगली सुनवाई में भी हमें कानून पर भरोसा है। हम कानून का सम्मान करते हैं और कानून के साथ हैं। ज्ञानवापी मामले में याचिकाकर्ता सोहन लाल आर्य ने कहा कि ये हिंदू समुदाय की जीत है। अगली सुनवाई 22 सितंबर को है। आज का दिन ज्ञानवापी मंदिर के लिए शिलान्यास का दिन है। हम लोगों से शांति बनाए रखने की अपील करते हैं।
हिंदू पक्ष के वकील विष्णु शंकर जैन ने बताया कि कोर्ट ने हमारी बहस को मान लिया है। मुस्लिम पक्ष के आवेदन को रद्द कर दिया है। कोर्ट ने कहा है कि याचिका सुनवाई योग्य है। अब इस मामले की अगली सुनवाई 22 सितंबर को होगी। आपको बता दें कि इस मामले में पांच महिलाओं ने याचिका दायर कर हिंदू देवी-देवताओं की दैनिक पूजा की अनुमति मांगी थी, जिनके विग्रह ज्ञानवापी मस्जिद की बाहरी दीवार पर स्थित हैं। जिला न्यायाधीश ने पिछले महीने इस मामले में आदेश 12 सितंबर तक के लिए सुरक्षित रख लिया था।