By अंकित सिंह | Jan 11, 2024
प्रवर्तन निदेशालय ने जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला के लिए समन जारी किया है। नेशनल कॉन्फ्रेंस नेता को गुरुवार को श्रीनगर में प्रवर्तन एजेंसी के कार्यालय में पेश होने के लिए कहा गया है। इस घटनाक्रम पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कांग्रेस ने इसे ''राजनीतिक प्रतिशोध'' बताते हुए कहा कि अब्दुल्ला एक बड़े नेता हैं इसलिए उन्हें ''सजा मिलनी तय है''। कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी ने कहा कि फारूक अब्दुल्ला एक कद्दावर नेता हैं। वह केंद्रीय मंत्री भी थे और आज इंडिया अलायंस की एक साहसी आवाज हैं। उनके पिता और उन्होंने कश्मीर को लेकर कड़े राजनीतिक कदम उठाए...इसलिए उन्हें सज़ा मिलनी ही थी। मुझे लगता है कि यह राजनीतिक प्रतिशोध है।
यह मामला जेकेसीए पदाधिकारियों सहित असंबद्ध पक्षों के विभिन्न व्यक्तिगत बैंक खातों में स्थानांतरण के माध्यम से और जेकेसीए बैंक खातों से अस्पष्टीकृत नकद निकासी के माध्यम से जम्मू और कश्मीर क्रिकेट एसोसिएशन के धन को निकालने से संबंधित है। एजेंसी का मामला उन्हीं आरोपियों के खिलाफ केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा दायर 2018 के आरोप पत्र पर आधारित है। ईडी के समन के जरिए जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री को गुरुवार को श्रीनगर स्थित ईडी कार्यालय में पेश होने के लिए कहा गया है। एजेंसी का मामला उन्हीं आरोपियों के खिलाफ केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा दायर 2018 के आरोप पत्र पर आधारित है।
एजेंसी के मुताबिक एसोसिएशन के धन को जेकेसीए के पदाधिकारियों सहित असंबद्ध पक्षकारों के निजी खातों में हस्तांतरित किया गया और निकाय के बैंक खाते से बिना कारण बताए नकदी निकाली गई। ईडी ने यह मामला केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा 2018 में दाखिल आरोप पत्र के आधार पर दर्ज किया। ईडी ने अब्दुल्ला को भेजे गए नोटिस में उन्हें एजेंसी के श्रीनगर कार्यालय में उपस्थित होने को कहा है।