By अंकित सिंह | Jul 19, 2023
संसद का मानसून सत्र 20 जुलाई से शुरू होने जा रहा है। इसको लेकर सभी राजनीतिक दलों ने अपनी-अपनी रणनीति तैयार कर ली है। इन सबके बीच कांग्रेस भी मानसून सत्र के भीतर कई मुद्दे उठाने की तैयारी कर रही है। माना जा रहा है कि संसद का मानसून सत्र बजट सत्र की ही तरह हंगामेदार रह सकता है। मानसून सत्र को लेकर कांग्रेस के पहले ही बड़ी बैठक हो चुकी है जिसमें किन मुद्दों पर पार्टी सरकार को घेरेगी, इस पर चर्चा हुई है। वही पार्टी महासचिव जयराम रमेश ने भी आज बताया है कि कांग्रेस किन मुद्दों को लेकर संसद में चर्चा की मांग करेगी।
जयराम रमेश ने कहा कि हम संसद के आगामी सत्र में मणिपुर की स्थिति पर चर्चा करना चाहते हैं। दूसरा मुद्दा राज्यपालों और एलजी के माध्यम से लोकतांत्रिक रूप से निर्वाचित राज्य सरकारों पर हमला है, दिल्ली अध्यादेश इसका एक उदाहरण है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि तीसरा मुद्दा मूल्य वृद्धि है... और निश्चित रूप से, अडानी घोटाले पर जेपीसी का मुद्दा। हम वन संरक्षण अधिनियम संशोधन विधेयक और जैविक विविधता अधिनियम में संशोधन का विरोध करेंगे। उन्होंने साफ तौर पर कहा कि हम दिल्ली अध्यादेश का विरोध करेंगे।
कांग्रेस के मुताबिक मणिपुर हिंसा और रेल सुरक्षा पर वह चर्चा चाहती है। इसके अलावा संघीय ढांचे पर आक्रमण, GST को PMLA के तहत लाने पर चर्चा को लेकर भी वह गंभीर है। कांग्रेस की सूची में महंगाई, UPA सरकार की योजनाओं को कमजोर करने, महिला पहलवानों के उत्पीड़न भी शामिल है। इसके साथ ही अडानी मामले पर JPC की मांग और अलग-अलग राज्यों के मुद्दे पर चर्चा कांग्रेस की मांग है। कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने एक प्रेस वार्ता में कहा कि हम सदन में कुछ मुद्दों पर चर्चा करना चाहते हैं। पहला मुद्दा मणिपुर है। हम चाहते हैं कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मौजूदगी में मणिपुर के हालात पर चर्चा हो।