कोरोना के इलाज की खोज के लिये WHO के साझा परीक्षण में भारत भी करेगा भागीदारी

By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Apr 04, 2020

नयी दिल्ली। कोरोना वायरस के संक्रमण का संभावित इलाज विकसित करने के लिये विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) द्वारा विभिन्न देशों के ‘साझा परीक्षण’ (सॉलिडेरिटी ट्रायल) में भारत भी भाग लेगा। भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) ने शुक्रवार को बताया कि डब्ल्यूएचओ ने कोरोना वायरस के संक्रमण का इलाज और दवा विकसित करने के लिये वैश्विक स्तर पर ‘सॉलिडेरिटी ट्रायल’ की पहल की है। इसमें कोरोना के संक्रमण का इलाज करा रहे मरीजों पर विभिन्न देशों में परीक्षण किया जायेगा।

इसे भी पढ़ें: डॉक्टरों और स्वास्थ्यकर्मियों की सुरक्षा के सख्त इंतजाम, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने किया था ट्वीट

भारत भी इस प्रक्रिया में भागीदारी करेगा। उल्लेखनीय है कि भारत में कोरेाना के मरीजों की संख्या 2547 हो गयी है, जबकि इससे अब तक देश में 62 लोगों की मौत भी हुई है। भारत में परीक्षण की प्रक्रिया आईसीएमआर के पुणे स्थित राष्ट्रीय एड्स शोध संस्थान की वैज्ञानिक डा शीला गोडबोले की देखरेख में की जायेगी। इससे पहले आईसीएमआर के वरिष्ठ वैज्ञानिक रमन आर गंगाखेड़कर ने बताया था कि भारत ने कुछ समय पहले देश में कोरोना के मरीजों की संख्या बहुत कम होने के कारण इस परीक्षण में भागीदारी करने से इंकार कर दिया था।

इसे भी पढ़ें: विश्व भर में कोरोना वायरस से मरने वालों की संख्या 50,000 पार हुई, अमेरिका-स्पेन में संकट गहराया

उल्लेखनीय है कि आईसीएमआर जैव प्रौद्योगिकी विभाग, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग और वैज्ञानिक एवं औद्योगिक अनुसंधान परिषद के साथ मिलकर कोरोना के टीके एवं इसके परीक्षण की किट को भी विकसित करने के लिये प्रयासरत है।

प्रमुख खबरें

शीतकालीन सत्र के दौरान स्थगन, व्यवधान के कारण बर्बाद हुए 65 घंटे, छाया रहा अडानी-सोरोस का मुद्दा

Ladli Behna Yojana: महाराष्ट्र विधानसभा ने 33,788.40 करोड़ रुपये की अनुपूरक मांगों को किया पारित, मासिक सहायता बढ़ाकर 2,100 रुपये की जाएगी

Sports Recap 2024: इस साल कोहली- रोहित सहित इन खिलाड़ियों के घर गूंजी किलकारी, विदेशी प्लेयर्स भी शामिल

अपने विवादित भाषणों के चलते अक्सर चर्चा में रहते हैं Parvesh Verma, दिल्ली दंगों में लगे थे गंभीर आरोप