कर्नाटक के सियासी घटनाक्रम पर लोकसभा में हंगामा, राहुल गांधी ने भी लगाए नारे

By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Jul 09, 2019

नयी दिल्ली। कर्नाटक में जारी सियासी घटनाक्रम को लेकर कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने मंगलवार को लोकसभा में नारे लगाए। राहुल गांधी सदन में अपने स्थान से बैठे बैठे ही नारा लगाते देखे गए। 17वीं लोकसभा में राहुल गांधी ने पहली बार नारेबाजी की। सदन में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने कर्नाटक में जारी सियासी घटनाक्रम का विषय उठाया और केंद्र में सत्तारूढ़ पार्टी पर राज्य में कांग्रेस सदस्यों का ‘शिकार’ करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि शिकार की राजनीति लोकतंत्र के लिये खतरा है। लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने कहा कि कांग्रेस सदस्यों को कल भी इस विषय को उठाने का मौका दिया गया था। इस बारे में कार्यस्थगन प्रस्ताव को अस्वीकार कर दिया गया है। इस पर कांग्रेस सदस्य अपने स्थान से ही नारेबाजी करने लगे। कुछ देर बाद कांग्रेस सदस्य आसन के पास आकर नारेबाजी करने लगे। कांग्रेस सदस्यों के साथ द्रमुक सदस्य भी आसन के समीप आकर नारेबाजी कर रहे थे। इस दौरान संप्रग अध्यक्ष सोनिया गांधी सदन में मौजूद थीं। 

 

राहुल गांधी को भी अपने स्थान पर बैठकर ‘वी वांट जस्टिस (हमें न्याय चाहिए)’ कहते सुना गया। सदन में कांग्रेस सदस्य ‘वी वांट जस्टिस’, ‘लोकतंत्र की हत्या बंद करो’, ‘शिकार की राजनीति बंद करो’ के नारे लगा रहे हैं। लोकसभाध्यक्ष ने हंगामा कर रहे सदस्यों से कहा कि सभी को सदन की गरिमा और मर्यादा को बनाये रखना चाहिए। उन्होंने कहा कि सदन में वाद विवाद करें, संवाद करें, चर्चा करे लेकिन नारेबाजी और तख्ती लेकर आना बंद होना चाहिए। बिरला ने कहा कि उन्होंने सदस्यों को बिना बारी भी बोलने की अनुमति दी है। ‘‘सदन को नगर निगम जैसा बनाना ठीक नहीं है।’’ संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कहा कि नियम में स्पष्ट है कि अगर किसी विषय पर चर्चा हो चुकी है तब उस पर फिर चर्चा नहीं हो सकती है। इस विषय (कर्नाटक) को उठाया जा चुका है, रक्षा मंत्री जवाब दे चुके हैं। 

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जोशी ने कहा कि कर्नाटक के मुद्दे से हमारा कोई लेना देना नहीं है। यह राहुल गांधी के इस्तीफा देने के आह्वान के कारण हो रहा है। सदन में महत्वपूर्ण विधेयक आने हैं, चर्चा होनी है। यह पहला सत्र है और इस तरह से इसे बाधित करना ठीक नहीं है। गौरतलब है कि कर्नाटक में जद(एस)-कांग्रेस सरकार गठबंधन के 13 विधायकों द्वारा राज्य विधानसभा अध्यक्ष के कार्यालय को इस्तीफा सौंपने के बाद प्रदेश सरकार संकट का सामना कर रही है। राज्यसभा में भी कर्नाटक के राजनीतिक घटनाक्रम के मुद्दे पर कांग्रेस सदस्यों ने हंगामा किया । इसके कारण मंगलवार को राज्यसभा की बैठक दो बार के स्थगन के बाद दोपहर दो बजे पूरे दिन के लिए स्थगित कर दी गई।

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