लौकी एक ऐसी सब्जी है जो साल के बारहों महीने आपको बाजार में मिल जाएगी। यह ज़्यादा महंगी सब्ज़ी नहीं है और इससे आप तरह-तरह के व्यंजन भी बना सकते हैं। आप लौकी की सब्ज़ी, कोफ्ता और हलवा बनाकर खा सकते हैं। स्वास्थ्य के लिहाज से भी लौकी बहुत फायदेमंद होती है। लौकी में विटामिन, आयरन और सोडियम जैसे पोषक तत्वों की भरपूर मात्रा होती है। लौकी के सेवन से डायबिटीज़, कोलेस्ट्रॉल और पेट संबंधी समस्याओं में लाभ होता है। जो लोग वजन घटाना चाहते हैं उनके लिए भी लौकी के जूस का सेवन फायदेमंद माना जाता है। लेकिन कई बार ऐसा होता है कि हम बाजार से लौकी खरीद कर लाते हैं और वह बेस्वाद और कड़वी निकल जाती है। कई बार ऊपर से ताजा दिखने वाली लौकी भी अंदर से काली या पकी हुई और ज्यादा बीज वाली निकल जाती है। आज के इस लेख में हम आपको लौकी खरीदने का सही तरीका बताने जा रहे हैं। अगर आप इन छोटी-छोटी बातों का ध्यान रखेंगे तो आप बाजार से अच्छी और मीठी लौकी खरीद सकते हैं-
लौकी खरीदते समय इस बात का भी ध्यान रखें लौकी का छिलका चिकना होना चाहिए। अगर लौकी आकार में टेढ़ी-मेढ़ी है या कहीं से कटी हुई है तो ऐसी लौकी ना खरीदें। अगर लौकी में दाग है या कहीं कोई कट लगा हुआ है तो ऐसी लौकी आपका स्वास्थ्य बिगाड़ सकती है। ऐसी लौकी खाने में बेस्वाद और अंदर से सड़ी हुई भी निकल सकती है।
हमेशा साफ सुथरी और अच्छी दिखने वाली लौकी ही खरीदें। अगर लौकी काटने पर अंदर से ब्राउन या काली निकलती है तो ऐसी लौकी को ना खाएं। लौकी काटने पर अंदर से सफेद और मुलायम हो तभी उसे पकाएं।
लौकी खरीदते समय आप उसके छिलके पर गौर करें। हमेशा हल्के हरे रंग की लौकी खरीदें। ध्यान दें कि कभी भी सफेद या पीले रंग की लौकी नहीं खरीदनी चाहिए क्योंकि ऐसी लौकी अंदर से अच्छी तरह से पकी नहीं होती है।
लौकी खरीदते समय आप यह भी ध्यान दें कि लौकी ना ज्यादा सख्त होनी चाहिए और ना ही ज्यादा मुलायम। लौकी खरीदते वक्त हमेशा उसे दबा कर देखें कि कहीं वह ज्यादा मुलायम तो नहीं है। मुलायम लौकी अंदर से ख़राब और सड़ी हुई निकल सकती है।
बाजार में छोटी-बड़ी कई आकार की लौकी मिलती है। ध्यान दें कि हमेशा मीडियम साइज की लौकी खरीदें। इसके साथ ही यह भी ध्यान रखें कि आपको जितनी जरूरत है, उतनी ही लौकी एक बार में खरीदें। क्योंकि ज़्यादा दिन की रखी हुई लौकी में वह स्वाद नहीं होता है जो फ्रेश लौकी में होता है। इतना ही नहीं, ज्यादा बड़ी लौकी में बड़े-बड़े और पके हुए बीज भी हो सकते हैं।
- प्रिया मिश्रा