बिहार में विधानसभा चुनाव के पहले NDA में मतभेद, मांझी ने लोजपा को दी चुनौती

By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Sep 04, 2020

पटना।  बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी की पार्टी हम (एस) की लोक जनशक्ति पार्टी से पुरानी प्रतिद्वंद्विता शुक्रवार को फिर से सामने आ गयी। हम (एस) ने आगाह किया है कि अगर लोक जनशक्ति पार्टी ने विधानसभा चुनाव में जदयू के खिलाफ उम्मीदवार उतारे तो वह भी लोजपा के खिलाफ अपना प्रत्याशी खड़ा करेगी। केंद्रीय मंत्री रामविलास पासवान की लोजपा केंद्र में भारतीय जनता पार्टी की सहयोगी है लेकिन राज्य में जदयू-भाजपा गठबंधन सरकार का वह हिस्सा नहीं है। राज्य में अक्टूबर-नवंबर में विधानसभा चुनाव होना है। लोजपा का नेतृत्व अब पासवान के पुत्र चिराग पासवान कर रहे हैं। वह जन वितरण प्रणाली में कथित भ्रष्टाचार से लेकर, सड़क निर्माण समेत विभिन्न मुद्दों पर नीतीश कुमार सरकार की आलोचना करते रहे हैं। 

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मीडिया में ऐसी खबरें आयी हैं कि राजग में हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा (सेक्युलर) के आने को लेकर लोजपा नाराज है और जद(यू) उम्मीदवारों के खिलाफ अपने उम्मीदवारों को उतारने पर विचार कर रही है। हम (एस) के प्रवक्ता दानिश रिजवान ने कहा, ‘‘यह मायने नहीं रखता कि (हम के राजग में शामिल होने पर) कौन खुश या नाखुश है। हम नीतीश कुमार को मजबूत बनाने के लिए यहां आए हैं, चुनाव में टिकट के लिए नहीं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘अगर चिराग पासवान जद(यू) उम्मीदवारों के खिलाफ प्रत्याशी उतारने की धमकी देते रहे तो हम मुंह खोलने के लिए मजबूर हो जाएंगे। अगर ऐसा हुआ तो हम भी लोजपा के खिलाफ अपने उम्मीदवार उतारेंगे।’’ लोजपा की राज्य संसदीय बोर्ड की सात सितंबर को बैठक होने वाली है और ऐसे संकेत हैं कि वह जद(यू) से ‘दोस्ताना मुकाबले’ पर चर्चा करेगी। जद(यू) और हम(एस) के साथ लोजपा अध्यक्ष का भले खिंचाव भरा संबंध हो लेकन भाजपा राजग में मांझी के लौटने से खुश है। 

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बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने ट्वीट किया ‘‘अब यह साफ हो गया कि विधानसभा चुनाव में राजग के सामने दरअसल केवल दो आदतन भ्रष्टाचारी और परम्परागत वंशवादी दल होंगे।’’ उन्होंने कहा, ‘‘इससे जनता को यह फैसला करने में आसानी होगी कि कौन न्याय के साथ विकास को आगे बढ़ायेगा और किसकी नीयत काम के बदले जमीन लिखवाने की रहेगी।’’ सुशील मोदी, राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद के रेल मंत्री के कार्यकाल में उनके परिवार को कथित तौर पर जमीन आवंटन से जुड़े मामलों का हवाला दे रहे थे। लालू के पुत्र और राज्य विधानसभा में विपक्ष के नेता तेजस्वी यादव भी मामले में आरोपी हैं। सीबीआई मामले की जांच कर रही है।

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