By अभिनय आकाश | Mar 20, 2025
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में रक्षा अधिग्रहण परिषद (डीएसी) ने 54,000 करोड़ रुपये से अधिक के पूंजी अधिग्रहण प्रस्तावों को मंजूरी दे दी है। इस निर्णय में सेना के लिए टी-90 टैंकों के लिए उन्नत इंजन, नौसेना के लिए वरुणास्त्र टॉरपीडो और वायु सेना के लिए एयरबोर्न अर्ली वार्निंग एंड कंट्रोल (एईडब्लूएंडसी) सिस्टम की खरीद शामिल है। भारतीय सेना के लिए, परिषद ने टी-90 टैंकों में मौजूदा 1,000 एचपी इंजन को अपग्रेड करने के लिए 1,350 एचपी इंजन खरीदने की मंजूरी दी। इससे पावर-टू-वेट अनुपात में वृद्धि करके युद्ध के मैदान में गतिशीलता में सुधार होने की उम्मीद है। भारतीय नौसेना को अतिरिक्त वरुणास्त्र टॉरपीडो मिलने वाले हैं, जो नौसेना विज्ञान और प्रौद्योगिकी प्रयोगशाला द्वारा स्वदेशी रूप से विकसित जहाज से लॉन्च किया जाने वाला एंटी-सबमरीन हथियार है। टॉरपीडो से नौसेना की पनडुब्बी खतरों का मुकाबला करने की क्षमता बढ़ेगी।
भारतीय वायुसेना के लिए, डीएसी ने एईडब्लूएंडसी विमान प्रणालियों की खरीद को मंजूरी दे दी है। ये प्रणालियाँ बल गुणक के रूप में कार्य करती हैं, युद्ध क्षमता को बढ़ाती हैं और आधुनिक युद्ध में रणनीतिक लाभ प्रदान करती हैं। 2025 को ‘सुधारों के वर्ष’ के रूप में चिह्नित करने की रक्षा मंत्रालय की पहल के हिस्से के रूप में डीएसी ने पूंजी अधिग्रहण प्रक्रिया को सुव्यवस्थित करने के लिए नए दिशानिर्देशों को भी मंजूरी दी। इन सुधारों का उद्देश्य देरी को कम करना और खरीद प्रक्रिया को तेज़, अधिक प्रभावी और कुशल बनाना है।