By अंकित सिंह | Aug 10, 2023
लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के नेता चिराग पासवान ने गुरुवार को कहा कि मणिपुर संकट पर एक सामूहिक जिम्मेदारी होनी चाहिए न कि चयनात्मक जिम्मेदारी। लोकसभा में अविश्वास प्रस्ताव के खिलाफ बोलते हुए पासवान ने कहा कि पिछले तीन दिनों से मणिपुर को लेकर आरोप-प्रत्यारोप का दौर चल रहा है लेकिन किसी ने कोई समाधान सुझाने की कोशिश नहीं की। उन्होंने कहा कि बुधवार को केंद्रीय गृह मंत्री ने विस्तार से बातें सामने रखीं। 90 के दशक में मणिपुर में ऐसी ही स्थिति देखी गई थी, तब वहां किसकी सरकार थी? इसके साथ ही उन्होंने कहा कि यह (मणिपुर संकट) सामूहिक जिम्मेदारी होनी चाहिए, न कि चयनात्मक जिम्मेदारी। वे मणिपुर गए लेकिन वे बिहार के उस गांव में क्यों नहीं गए जहां बलात्कार की घटना सामने आई थी।
युवा नेता ने कहा कि अगर देश के किसी भी हिस्से में किसी मां या बेटी के साथ ऐसी घटना घटती है तो यह अक्षम्य और निंदनीय है। जिस तरह से गृह मंत्री ने (मणिपुर में शांति के लिए) अपील की, हमें एक साथ आना होगा। आपको बिहार, राजस्थान, कर्नाटक की बात करनी होगी। उन्होंने आगे कहा कि नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाला एनडीए बिहार की सभी 40 लोकसभा सीटें जीतेगा। उन्होंने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर भी निशाना साधा और कहा कि उनकी पार्टी (जेडीयू) 2020 के बिहार विधानसभा चुनाव में सिर्फ तीसरे नंबर की पार्टी बनकर रह गई है। उन्होंने यह भी कहा कि बिहार के सीएम को जनता पहले ही खारिज कर चुकी है।
भाजपा सांसद लॉकेट चटर्जी ने कहा कि पश्चिम बंगाल पंचायत चुनाव के बाद महिलाओं पर अत्याचार करने वाले लोग लोकतंत्र की बात कर रहे हैं...इस साल के पंचायत चुनाव में 59 पार्टी कार्यकर्ताओं की मृत्यु हुई है। जब से पश्चिम बंगाल की CM ममता बनर्जी सत्ता में आई हैं तब से राज्य में महिलाओं पर अत्याचार हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि अपनी छवि बनाने के लिए वे पूछ रही हैं कि PM मोदी मणिपुर मुद्दे पर चुप क्यों हैं... विपक्ष राजस्थान, पश्चिम बंगाल और छत्तीसगढ़ की घटनाओं पर चुप है और मणिपुर के बारे में बात कर रहा है। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि मणिपुर, दिल्ली, राजस्थान कहीं भी हो, महिलाओं की पीड़ा को गंभीरता से लेना होगा। कोई राजनीति नहीं करनी चाहिए।