By अनुराग गुप्ता | Jul 22, 2020
सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक 9 जुलाई के बाद से कोई भी गतिविधि नहीं देखी गई है। ऐसे में चीनी सैनिक जहां पर अपना डेरा जमाए हुए थे अभी भी वह वहीं पर ही मौजूद हैं।
फिंगर-4 की रिज लाइन से भी नहीं हटे सैनिक
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक 14 जुलाई को हुई चौथे चरण की कोर कमांडर मीटिंग से पहले फिंगर-4 की रिज लाइन से चीनी सैनिकों के पीछे जाने की उम्मीद थी मगर वह नहीं हटे और उसी स्थान पर डटे रहे। फिर चौथे चरण की मीटिंग में चर्चा की गई कि कैसे सैनिक पीछे डटेंगे लेकिन अभी तक चीनी सैनिकों ने अपना डेरा डाला हुआ है।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक सेना के एक अधिकारी ने कहा कि इसके लिए दो सप्ताह का समय तय हुआ था। हालांकि अभी एक सप्ताह बचा हुआ है। उन्होंने आगे उम्मीद जताते हुए कहा कि पहले चरण के डिसइंगेजमेंट में भी चीनी सैनिक आखिरी समय में पीछे गए थे तो चीनी सैनिक इस सप्ताह गतिरोध समाप्त करने की दिशा में कुछ कदम बढ़ा सकते हैं।
चीन पर नहीं कर सकते विश्वास
मीटिंग के अनुसार अगर चीन पीछे हट जाता है तो गतिरोध समाप्त हो सकता है लेकिन अगर वह ऐसा नहीं करता है तो भारतीय सेना इसके लिए भी तैयार है। हालांकि अभी तक की घटनाओं को देखते हुए चीन पर भरोसा कुछ खास नहीं है। तभी तो लेह लद्दाख के दौरे पर पहुंचे रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने चीन को स्पष्ट संदेश दिया था।
उन्होंने कहा था कि दुनिया में कोई भी ताकत ऐसी नहीं है जो भारत से उसकी एक इंच भी जमीन छीन सके। उन्होंने आगे कहा था कि इस समय सीमा विवाद को सुलझाने के लिए बातचीत का दौर चल रहा है। अब तक जो कुछ भी प्रगति हुई है बातचीत की, मामला हल होना चाहिए लेकिन कहां तक हल होगा इसकी अभी मैं कोई गारंटी नहीं दे सकता हूं।