छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री ने राज्य के प्रवासियों को लाने के लिए 28 ट्रेनें चलाने की मांग की

By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | May 02, 2020

रायपुर। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने रेल मंत्री पीयूष गोयल को पत्र लिखकर राज्य के प्रवासी श्रमिकों की वापसी के लिए 28 ट्रेनों का परिचालन करने की मांग की है। राज्य के वरिष्ठ अधिकारियों ने शनिवार को यहां बताया कि मुख्यमंत्री बघेल ने रेल मंत्री पीयूष गोयल को पत्र लिखकर उनसे छत्तीसगढ़ के प्रवासी श्रमिकों की वापसी के लिए देश के विभिन्न शहरों से 28 रेलगाड़ियों का परिचालन करने का अनुरोध किया है। बघेल ने भारत सरकार द्वारा फंसे हुए मजदूरों को उनके घर पहुंचाने के लिए रेलगाड़ी चलाने के फैसले का स्वागत किया। साथ ही उन्होंने मानवीय आधार पर रेलवे द्वारा ट्रेनों का परिचालन निःशुल्क करने और ट्रेनों के संचालन के लिए जल्द से जल्द तारीख और समय तय करने का आग्रह किया। मुख्यमंत्री ने अपने पत्र में लिखा, ‘‘देश भर में पिछले कुछ दिनों में कोविड-19 के खिलाफ लड़ाई तेज हो गई है। छत्तीसगढ़ राज्य द्वारा भी कोविड-19 का बहादुरी से मुकाबला किया जा रहा है। हमने अपने राज्य में इस महामारी के संक्रमण को रोकने में काफी हद तक सफलता पायी है।’’ उन्होंने लिखा, ‘‘इस समय बड़ी संख्या में छत्तीसगढ़ के प्रवासी श्रमिक देश के विभिन्न हिस्सों में फंसे हुए हैं। हेल्पलाइन और अन्य माध्यमों से प्राप्त सूचना के अनुसार 1.17 लाख से अधिक प्रवासी कामगार देश के 21 राज्यों और चार केन्द्र शासित प्रदेशों में फंसे हुए हैं। परिवहन की प्रक्रिया शुरू होने के बाद संख्या बढ़ सकती है। यदि प्रवासी श्रमिकों के अलावा अन्य लोगों जैसे छात्र, पर्यटक आदि को जोड़ते हैं तो यह संख्या बहुत बड़ी होगी।’’ बघेल ने कहा है कि भारत सरकार द्वारा फंसे हुए मजदूरों को उनके घर तक पहुंचाने के लिए ट्रेनों के परिचालन के निर्णय का स्वागत करता हूं। इस संदर्भ में आपके संज्ञान में लाना चाहूंगा कि हमारे प्रशासनिक तंत्र को विभिन्न राज्यों के साथ समन्वय स्थापित करने और फंसे हुए लोगों और विशेष रूप से फंसे हुए श्रमिकों के सुरक्षित आवागमन के लिए योजना बनाने के लिए निर्देशित किया है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘ देश भर में फंसे हुए लोगों के लिए जो ट्रेनें विशेष रूप से संचालित की जा रही हैं, इन्हें फंसे हुए मजदूरों और व्यापक लॉकडाउन से प्रभावित लोगों को बिना किसी परेशानी के आगे की यात्रा के लिए निःशुल्क संचालित की जानी चाहिए।’’ 

 

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बघेल ने कहा,‘‘ रेलवे बोर्ड द्वारा एक मई को जारी पत्र के अनुसार शयनयान मेल और एक्सप्रेस ट्रेन के लिए शुल्क निर्धारित किया गया है, जो कि उचित नहीं है क्योंकि सभी प्रवासी श्रमिक लॉकडाउन के कारण फंसे हुए हैं और पीड़ित हैं। मानवीय आधार पर रेलवे द्वारा निःशुल्क व्यवस्था की जानी चाहिए। इस संबंध में आपसे अनुरोध करता हूं कि राज्य के प्रवासी श्रमिकों और नागरिकों की वापसी के लिए पर्याप्त संख्या में ट्रेनों का संचालन करने का कष्ट करें।’’ अधिकारियों ने बताया कि बघेल ने जम्मू से रायपुर-बिलासपुर के बीच सात ट्रेनें, लखनऊ से रायपुर-बिलासपुर के लिए तीन ट्रेनें, कानपुर से रायपुर-बिलासपुर के लिए दो ट्रेनें, चेन्नई से रायपुर-बिलासपुर एक ट्रेन, बेंगलुरु से रायपुर-बिलासपुर के लिएट्रेन, पुणे से रायपुर-बिलासपुर के लिए दो ट्रेनें, प्रयागराज से बिलासपुर के लिए एक ट्रेन, दिल्ली से रायपुर-बिलासपुर तीन ट्रेनें, हैदराबाद-सिकंदराबाद से रायपुर-बिलासपुर के लिए तीन ट्रेनें, विशाखापट्नम से रायपुर के लिए एक ट्रेन, सूरत-अहमदाबाद से रायपुर से एक ट्रेन, कोलकाता से रायपुर के लिए एक ट्रेन, जयपुर से रायपुर के लिए एक ट्रेन, पटना से दुर्ग के लिए एक ट्रेन चलाने का आग्रह किया है।

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