By अंकित सिंह | Mar 25, 2023
सट्टेबाजी और मैच फिक्सिंग की दुनिया बहुत बड़ी है और चुपचाप चलती है। हालांकि समय-समय पर इसके खिलाफ आवाज भी उठते रहते हैं। स्पोर्टराडार इंटीग्रिटी सर्विसेज द्वारा प्रकाशित एक समीक्षा रिपोर्ट में दावा किया कि 2022 में 13 प्रतिस्पर्धी क्रिकेट मैच संदेह के दायरे में आए। गौरतलब है कि स्पोर्टराडार इंटीग्रिटी सर्विसेज विशेषज्ञों की एक अंतरराष्ट्रीय टीम है जो खेल में अनियमित सट्टेबाजी, मैच फिक्सिंग और भ्रष्टाचार के अन्य रूपों पर विश्लेषण करती है। सट्टेबाजी, भ्रष्टाचार और मैच फिक्सिंग' शीर्षक वाली 28 पन्नों की रिपोर्ट में कहा गया है कि 2022 में 92 देशों में 12 खेलों में एक अभूतपूर्व "1212 संदिग्ध मैच" पाए गए।
यह 2021 की तुलना में 34% ज्यादा है। फुटबॉल में 775 संदिग्ध मैच पाए गए, जबकि बास्केटबॉल में ऐसे 220 मामले देखे गए, जो 2021 की तुलना में 250% अधिक है। मैचों के दौरान संदिग्ध गतिविधि का पता लगाने के लिए कंपनी एक एप्लिकेशन यूनिवर्सल फ्रॉड डिटेक्शन सिस्टम (यूएफडीएस) का उपयोग करती है। क्रिकेट को लेकर जो सबसे बड़ी बात सामने आई है वह यह है कि 13 संदिग्ध क्रिकेट मैच पाए गए, लेकिन उनमें से कोई भी भारत में नहीं खेला गया। दिलचस्प बात यह है कि 12 खेलों में क्रिकेट में केवल 13 मैच थे जो कथित रूप से भ्रष्टाचार से लिप्त हो सकते हैं। जिससे यह खेल सूची में छठे स्थान पर है। रिपोर्ट में दावा किया गया है कि एक साल में खेल के लिए ये 13 क्रिकेट मैच सबसे ज्यादा हो सकते हैं।
फुटबॉल में 775 मैचों में भ्रष्टाचार हो सकता है। इस सूची में बास्केटबॉल दूसरे नंबर पर है जिसके 220 मैच संदिग्ध थे जबकि लॉन टेनिस के 75 मैचों पर सवाल खड़ा हुआ। वहीं, लॉन टेनिस 75 संदिग्ध खेलों के साथ तीसरे स्थान पर है। रिपोर्ट में कहा गया है, ‘‘हालांकि कई खेलों में संदिग्ध मैचों की अपेक्षाकृत कम संख्या रहना जारी है। लेकिन क्रिकेट के 13 मैच पर संदेह होना ‘स्पोर्टरडार इंटीग्रिटी सर्विसेज’ द्वारा दर्ज किए गए उच्चतम वार्षिक आंकड़े हैं। हैंडबॉल और फुटसल ने भी अब तक के सबसे अधिक संदिग्ध मैच दर्ज किए हैं।