By अंकित सिंह | Aug 05, 2022
आज दिनभर चले कांग्रेस के विरोध प्रदर्शन को लेकर अब भाजपा हमलावर हो गई है। पहले तो गृह मंत्री अमित शाह ने कांग्रेस पर जबरदस्त तरीके से निशाना साधा। अब भाजपा के कई बड़े नेता भी कांग्रेस पर जबरदस्त तरीके से हमलावर हो गए हैं। इन सबके बीच उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री और फायरब्रांड नेता योगी आदित्यनाथ का भी बयान आ गया है। योगी आदित्यनाथ ने साफ तौर पर कहा कि अयोध्या दिवस के दिन कांग्रेस का प्रदर्शन निंदनीय है। कांग्रेस नेताओं ने जानबूझकर काले कपड़े पहने। उन्होंने साफ तौर पर कहा कि कांग्रेस ने राम भक्तों का अपमान किया है। इसलिए उन्हें देश की जनता से माफी मांगनी चाहिए। उन्होंने कहा कि देश का कोई भी सामान्य व्यक्ति कांग्रेस के इस आचरण का समर्थन नहीं कर सकता। कांग्रेस के इस विरोध को देश की जनता स्वीकार नहीं करेगा। 5 अगस्त हर भारतीय के लिए गर्व का दिन है। हर भारतीय स्टील का वर्षों से इंतजार किया था।
योगी आदित्यनाथ ने साफ तौर पर कहा कि काले कपड़े पहन का विरोध प्रदर्शन अयोध्या दिवस का अपमान है। राम जन्मभूमि के शिलान्यास का कांग्रेस में विरोध किया है। ईडी की पूछताछ को लेकर योगी आदित्यनाथ ने साफ तौर पर कहा है कि आप कोर्ट के आदेश के हिसाब से काम हो रहा है। इसमें सरकार का कोई लेना-देना नहीं है। इससे पहले गृह मंत्री अमित शाह ने भी कांग्रेस पर जबरदस्त तरीके से निशाना साधा था अमित शाह ने कहा था कि एक जिम्मेदार पार्टी होने के नाते कानून का सहयोग देना चाहिए। वो (कांग्रेस) रोज प्रदर्शन करते हैं। मेरा मानना है कि कांग्रेस ने आज के विरोध प्रदर्शन से तुष्टीकरण की राजनीति को बढ़ाया है। आज ED ने आज किसी को तलब नहीं किया लेकिन फिर भी उन्होंने प्रदर्शन किया।
अमित शाह ने आगे कहा था कि कांग्रेस ने आज के दिन काले कपड़े पहनकर विरोध प्रदर्शन किया जबकि आज ही के दिन PM ने राम जन्मभूमि का शिलान्यास किया था। कांग्रेस आज प्रदर्शन कर संदेश देना चाहते हैं कि वो राम जन्मभूमि के शिलान्यास का विरोध करते हैं और तुष्टीकरण की नीति को आगे बढ़ाना चाहते हैं। आपको बता दें कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज ही के दिन 5 अगस्त 2020 को अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के लिए भूमि पूजन किया था। आज कांग्रेस की ओर से जबरदस्त तरीके से कई मुद्दों को लेकर विरोध प्रदर्शन किया गया था। कांग्रेस के सभी नेताओं ने काले कपड़े पहन रखे थे। संसद से सड़क तक कांग्रेस का सरकार के खिलाफ हल्ला बोल जारी था। कांग्रेस के कई वरिष्ठ नेताओं को हिरासत में भी लिया गया था। हालांकि बाद में इन वरिष्ठ नेताओं को छोड़ दिया गया है।